सेहत की बात: 60 की उम्र में कैसे काम करेगा आपका शरीर-दिमाग?
ये दो 'मूल-मंत्र' कई समस्याओं के लिए 'सुरक्षाकवच'
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | हमारे शरीर में समय के साथ कई प्रकार के परिवर्तन होते रहते हैं। शोधकर्ता बताते हैं कि युवावस्था की तुलना में 35-40 की आयु आते-आते मांसपेशियों-हड्डियों से संबंधित विकार होने शुरू हो जाते हैं। जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, शरीर की कोशिकाएं कमजोर होती जाती है, जिसके कारण तमाम प्रकार के रोगों का खतरा होने लग सकता है। हालांकि अगर आप कम उम्र से ही आहार की पौष्टिकता और नियमित व्यायाम जैसी आदतों का पालन कर रहे हैं, तो अन्य लोगों की तुलना में आप अधिक स्वस्थ रह सकते हैं और इस तरह की जटिलताओं को थोड़ा आगे भी बढ़ा सकते हैं।
सर्वेक्षणों से पता चलता है कि उम्र बढ़ने और खुशी का अनुभव, अक्सर यू-शेप में होते हैं। आपकी युवावस्था से मध्य आयु तक ये धीरे-धीरे कम होती है फिर आपके 40-50 की उम्र में दोबारा बढ़ सकती है। 60 की आयु वाले लगभग 3 में से 1 व्यक्ति का कहना है कि वे 35 वर्ष से कम उम्र के लोगों की तुलना "बहुत खुश" हैं।
हालांकि 60 की आयु तक अक्सर हम सभी कई प्रकार की बीमारियों के शिकार हो जाते हैं। आइए ऐसी ही कुछ समस्याओं के बारे में जानते हैं, साथ ही यह समझने की कोशिश करते हैं उम्र से संबंधित इन परिवर्तनों को कैसे ज्यादा देर तक के लिए रोका जा सकता है?सर्वे बताते हैं कि 60 की उम्र आते-आते 10 में से चार अमेरिकियों को सुनने में परेशानी होने लगती है। यह उम्र बढ़ने के साथ होने वाली सबसे आम समस्याओं में से एक है। जैसे-जैसे आप बड़े होते जाते हैं, कान की सूक्ष्म कोशिकाएं स्वाभाविक रूप से मरने लग जाती हैं। यही कारण है कि उम्र बढ़ने के साथ कान में संक्रमण होना सामान्य है। हृदय की स्थिति, स्ट्रोक, सिर की चोट या कुछ दवाएं भी आपके सुनने की क्षमता को कमजोर कर सकती हैं।
60 की उम्र तक आपकी त्वचा की पहली दो परतें- एपिडर्मिस और डर्मिस - पतली और चपटी हो जाती हैं। इससे त्वचा रूखी और खुस्क होने लग जाती है, त्वचा का ढीला होना भी इसी कारण से होता है। उम्र के साथ झुर्रियां, धब्बे, त्वचा की कमजोरी दिखने लगती हैं। आपके पसीने की ग्रंथियों की सक्रियता भी कम हो जाती है।
60 के दशक में बहुत से लोग यह नोटिस करने लगते हैं कि उनका दिमाग पहले जितना तेज नहीं है। आपको नाम या चीजों को याद करने या पहले की तरह समस्याओं को हल करने में अधिक समय लग सकता है। यह मानसिक गिरावट उम्र बढ़ने के साथ जारी रहती है। कुछ लोगों में अल्जाइमर-डिमेंशिया जैसे रोगों के कारण ये जटिलताएं और भी समस्याकारक हो सकती हैं।