सम्पादकीय - Page 12

Editorial: आज के दौर में पुस्तकें पुस्तकें कौन पढ़ता है

Editorial: आज के दौर में पुस्तकें पुस्तकें कौन पढ़ता है

Editorial: हम ज्यों-ज्यों आधुनिक हुए है, त्यों- त्यों तकनीकी के गुलाम होते चले जा रहे हैं। नतीजतन, पुस्तकों से लगातार दूरी बढ़ती चली जा रही है। शिक्षा सबके लिए सुलभ होने का दायरा बढ़ा है, ऐसा...

6 Nov 2024 12:40 PM GMT
शांति की चाहत

शांति की चाहत

Editorial: हम सब सृष्टि के अंग हैं। कोई भी जीव पैदा होने से लेकर अंत तक जिंदगी में काफी कुछ अनुभव करता है, देखता है, सुनता है और विचार करता है। वह अतीत की याद, वर्तमान के संघर्ष और भविष्य की...

6 Nov 2024 12:38 PM GMT