दूध से बनी ये पौष्टिक मिठाई है खीस, जानें रेसिपी

सभी को दूध पसंद नहीं होता है, लेकिन दूध से बनी मिठाइयों काे खाने से भला कौन मना कर सकता है? क्या आप सभी भारत के विभिन्न हिस्सों में व्यापक रूप से बनाई जाने वाली खीस मिठाई के बारे में जानते हैं

Update: 2022-06-05 07:47 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। सभी को दूध पसंद नहीं होता है, लेकिन दूध से बनी मिठाइयों काे खाने से भला कौन मना कर सकता है? क्या आप सभी भारत के विभिन्न हिस्सों में व्यापक रूप से बनाई जाने वाली खीस मिठाई के बारे में जानते हैं? अगर नहीं, तो यहां हम आपको बता दें कि यह न सिर्फ खाने में स्वादिष्ट होता है, बल्कि इसके कई स्वास्थ्य लाभ भी हैं।

सबसे मजेदार बात यह है कि खीस ऐसे दूध से तैयार की जाती है, जो गाय/भैंस बछड़े को जन्म देने के 2-3 दिनों के भीतर देती है। इस दूध में कोलोस्ट्रम होता है, जो सभी स्तनधारियों द्वारा बच्चे जन्म देने के बाद निकलनेे वाले दूध में पाया जाता है।
न्यूट्रिशनिस्ट अवनि कौल ने हेल्थ शॉट्स को बताया, "कोलोस्ट्रम में एंटीऑक्सीडेंट और एंटीबॉडी की मात्रा अधिक होती है। ये ऐसा प्रोटीन है, जो बैक्टीरिया और वायरल संक्रमणों के खिलाफ शरीर के इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाता है खासकर शिशुओं में। उनके अनुसार, लोग इस दूध का उपयोग खीस बनाने के लिए करते हैं, क्योंकि यह दिखने में पनीर जैसा लगता है और खाने में भी।' इस बात का जरूर ध्यान रखें कि बछड़े के जन्म के बाद पहली बार निकलने वाले दूध का इस्तेमाल न करें, क्योंक यह दूध बछड़े के स्वस्थ विकास के लिए भी महत्वपूर्ण है।
नियमित दूध से ज्यादा पौष्टिक
नियमित दूध के फायदे तो हम सभी जानते हैं, लेकिन खीस इन सबसे बढ़कर है। यह प्रोटीन, मैग्नीशियम, विटामिन और खनिजों में बहुत समृद्ध है। इसमें लैक्टोफेरिन भी होता है, जो हमारी इम्यून सिस्टम को बीमारियों से लड़ने में मदद करता है। यह नवजात शिशु के विकास के लिए भी बढ़िया होता है।
इम्यून सिस्टम को करता है दुरुस्त
यह एंटीबॉडी (आईजीजी और आईजीए) का एक पावरहाउस है, जो वायरस और बैक्टीरिया से लड़ने वाली हमारी प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने में मदद करता है। यह पूछने पर कि यह कोविड -19 जैसे वायरस के प्रभाव को खत्म कर सकता है? कौल के अनुसार, "यह कहने के लिए शोध पर्याप्त नहीं है। यह इम्यून सिस्टम को मजबूत करने में मदद करता है। इसलिए यह संक्रमण को दूर करने में जरूर मदद कर सकता है। कोविड की रोकथाम में यह मदद कर सकता है।'
दस्त का करता है इलाज
यह दूध एंटीबॉडी और प्रोटीन से भरपूर होता है। खीस न केवल दस्त के इलाज के लिए, बल्कि इसे रोकने के लिए भी एक बढ़िया विकल्प है।
पेट को स्वस्थ रखता है
खीस कोशिकाओं के विकास को बढ़ावा देने और आंत की दीवारों को मजबूत करने में मदद करता है। कौल ने बताया, "कोलोस्ट्रम चार IGF बाइंडिंग प्रोटीन (IGFBP) के अलावा इंसुलिन जैसे विकास कारक I और II (IGF-I और IGF-II) में भी समृद्ध है। इसलिए यह दूध नवजात शिशु के आंतों के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।' .
मधुमेह रोगियों के लिए फायदेमंद
यदि इसे बिना चीनी के लिया जाता है, तो इस दूध का पनीर मधुमेह रोगियों के इंसुलिन स्तर को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। दूध में कोलोस्ट्रम ग्लूकोज के उपयोग में सुधार करता है, जो ब्लड में शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद करता है।कौल के अनुसार, "नेचुरल कोलोस्ट्रम हर बच्चे के लिए जरूरी होता है, लेकिन कोलोस्ट्रम की खुराक डॉक्टर की सलाह के बाद ही बच्चों को देनी चाहिए। वयस्कों के लिए भी कोलोस्ट्रम की खुराक डॉक्टर से सलाह लेने के बाद देनी चाहिए। कुछ लोगों को कोलोस्ट्रम से एलर्जी भी हो सकती है।'
आइए जानते हैं खीस बनाने की रेसिपी
कोलोस्ट्रम दूध को एक पैन में लें और इसे गैस पर रख दें।दूध में चीनी/गुड़ और इलाइची अपने स्वादानुसार मिला देंं।मिश्रण को चलाते रहें और उबाल आने दें।एक उबाल के बाद दूध अपने आप फट जाएगा और आपकी खीस तैयार हो जाएगी।
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