Health tips स्वास्थ्य सुझाव: थकान और दर्द को दूर करने के लिए लोग कई तरह की मसाज थेरेपी का सहारा लेते हैं। नियमित रूप से मालिश करवाने से शरीर में खून का संचार बढ़ता है, नींद की गुणवत्ता और प्रतिरक्षा में सुधार होता है। जिससे व्यक्ति को तनाव कम महसूस होने के साथ दर्द से भी राहत मिलती है। ज्यादातर लोग सात तरह की मालिश स्वीडिश, शियात्सू, डीप टिशू, हॉट स्टोन, अरोमाथेरेपी, थाई और स्पोर्ट्स के बारे में जानते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कांस्य मसाज भी मालिश करने का एक अनूठा तरीका है। कांस्य फुट मसाज थेरेपी के दौरान पैरों में तेल लगाकर कांस्य का लौटा या कटोरी को पैरों पर रगड़ा जाता है। कांस्य मसाज पैरों में तंत्रिका अंत को उत्तेजित करके में सुधार करता है। जिससे व्यक्ति तनाव, दर्द और अवसाद में राहत महसूस करने के साथ अधिक ऊर्जावान और कम थका हुआ महसूस करता है। आइए जानते हैं कैसे की जाती है कांस्य फुट मसाज थेरेपी और क्या हैं सेहत के लिए इसके फायदे। blood circulation
कैसे करें कांस्य फुट मसाज थेरेपी-
कांस्य फुट मसाज थेरेपी करने के लिए आपको सबसे पहले कांस्ये के एक लौटे या कटोरी की जरूरत होगी। साथ ही मालिश करने के लिए घी, तेल, तिल का तेल या फिर किसी हर्बल तेल का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। अब कांस्य फुट मसाज थेरेपी करने के लिए आपको सबसे पहले पैरों के तलवों पर अच्छी तरह तेल लगाकर कांस का लौटा गोल-गोल पूरे पैर पर घूमाना है। ऐसा करते हुए आप पूरे पैर की अच्छी तरह मालिश करें। इस बात का खास ख्याल रखें कि मालिश करने के बाद आप अपने पैरों के तलवों को 2 घंटे बाद ही पानी में डालें।
कांस्य फुट मसाज थेरेपी के फायदे-
-घुटनों व एड़ियों का दर्द कम होता है।
-शरीर की गर्मी कम होती है।
-थकान कम महसूस होती है।
-पैरों की सूजन में आराम मिलता है
-आंखों के काले घेरे कम होते हैं।
-नींद की समस्या में आराम मिलता है।