Vat Savitri Vrat 2023: सुहागिन स्त्रियों के लिए वट सावित्री व्रत का काफी महत्व होता है। हर साल इस दिन वो करवाचौथ की तरह ही तैयार होती हैं। सज-धज के अपने पति की लंबी उम्र के लिए प्रार्थना करती हैं। हर साल ज्येष्ठ महीने की अमावस्या तिथि को वट सावित्री का व्रत रखा जाता है। इस साल ये त्योहार 19 मई को मनाया जा रहा है। जिसकी तैयारियां महिलाओं ने शुरू कर दी है। ऐसा कहा जाता है कि, वट सावित्री व्रत के दिन जो विवाहित महिला पूरे श्रद्धा भाव से बरगद के वृक्ष की पूजा करती है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और अटल सौभाग्य का आशीर्वाद मिलता है।
अगर इस साल शादी के बाद ये आपका पहला व्रत है तो ये खबर आपके लिए ही है। दरअसल, आज के लेख में हम आपको बताएंगे कि नवविवाहित महिलाओं को व्रत में पूजा के लिए तैयार होते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए। ताकि आपकी पूजा का फल भी आपको मिल सके।
अगर आप पहली बार व्रत रख रहीं हैं तो 16 श्रृंगार आपके लिए बेहद जरूरी है। ये आपके लुक में चार चांद लगाने का काम भी करेगा। अगर आप पूरी तरह से तैयार होकर अपने पति के सामने जाएंगी तो उनकी आप पर से नजर नहीं हटेगी। हिंदू धर्म में वैसे भी सुहागिन महिलाओं के लिए सोलह श्रृंगार का काफी महत्व है।
अगर ये आपका पहला वट सावित्री व्रत है तो कोशिश करें कि अपनी शादी का लहंगा ही इसमें कैरी करें। अगर वो पहनने का मन नहीं हैं तो आप लाल या पीले रंग के ही कपड़े पहनें। ये सुहाग की निशानी होती है और इससे आपको रिश्ता और ज्यादा मजबूत होगा।
अपने पहले वट सावित्री व्रत में काले, सफेद और नीले रंगों से दूर ही रहें। हिंदू धर्म में ये रंग सुहागिनों के लिए अच्छे नहीं मानें जाते।
व्रत वाले दिन अपने पैरों में आलता जरूर लगाएं। ये आपके लुक को और ज्यादा खूबसूरत बनाने में मदद करेगा। इसे लगाकर सुहागिन महिलाएं और ज्यादा खूबसूरत दिखती हैं।