Yogasan योगासन: किसी भी व्यक्ति के शरीर और त्वचा में उम्र के साथ बदलाव आना स्वाभाविक है। लेकिन त्वचा पर समय से पहले होने वाले कुछ बदलाव जैसे झुर्रियां, महीन रेखाएं और काले धब्बे बढ़ती उम्र का नतीजा नहीं बल्कि जीवनशैली में बदलाव का भी नतीजा हो सकते हैं। जी हां, आजकल अस्वस्थ जीवनशैली और बढ़ते तनाव के कारण लोगों में समय से पहले बुढ़ापा आने की समस्या आम हो गई है। जिससे योग आसानी से राहत दिला सकता है। योग करने से न सिर्फ शारीरिक और मानसिक लाभ मिलते हैं बल्कि यह दमकती त्वचा का सपना भी पूरा करने में मदद कर सकता है। आपको बता दें, कुछ योगासनों के नियमित अभ्यास से रक्त संचार बेहतर होता है, जिससे चेहरे की चमक बढ़ती है। आइए जानते हैं ऐसे ही कुछ योगासनों के बारे में।
चेहरे का निखार बढ़ाते हैं ये योगासन-
त्रिकोणासन-
त्रिकोणासन करने से चेस्ट और लंग्स बढ़े होते हैं, जिससे उनमें अधिक मात्रा में Oxygen का संचार हो पाता है। यही ऑक्सीजन त्वचा के ग्लो को बढ़ाने में मदद करती है। त्रिकोणासन करने के लिए सबसे पहले जमीन पर योगा मैट बिछाकर सूर्य नमस्कार की मुद्रा में खड़े हो जाएं। इसके बाद अपने पैरों के बीच एक गज की दूरी बनाते हुए बाएं हाथ को हवा में लहराते हुए ऊपर ले जाएं, जबकि दाहिने हाथ से अपने दाएं पैर को छूने की कोशिश करें। ध्यान रहें ऐसा करते हुए आपका शरीर 90 डिग्री के कोण में स्थित रहें। इस मुद्रा में कुछ समय तक बने रहने के बाद पहली वाली मुद्रा में आ जाएं। इस योगासन को दोनों तरफ से दोहराएं। आप इस आसन को रोजाना कम से कम 10 बार करें।
हलासन-
हलासन पाचन क्रिया की गति को बढ़ाने में मदद करता है। इसके नियमित अभ्यास से ब्लड सर्कुलेशन में भी सुधार होता है। जिससे स्किन में चमक आती है। हलासन करने के लिए आप सबसे पहले जमीन पर लेटकर अपने पैरों को अपने सिर के ऊपर से ले जाएं। ऐसा करते हुए आपसे जितना संभव हो सके उतना जमीन को छूने की कोशिश करें। ग्लोइंग स्किन के लिए इस आसन को दिन से तीन बार करना फायदेमंद हो सकता है।
सर्वांगासन-
सर्वांगासन करते समय शरीर को कंधों और सिर पर बैलेंस किया जाता है। जिससे सिर और चेहरे की तरह होने लगता है। जो चेहरे का ग्लो बढ़ाने का काम तो करता है। सर्वांगासन करने के लिए सबसे पहले पीठ के बल लेट जाएं। इसके बाद अपने पैरों, कूल्हे और फिर blood circulationकमर को उठाएं। ऐसा करते हुए आपका सारा भार आपके कंधों पर आ जाएगा। अपनी पीठ को अपने हाथों से सहारा देते हुए कोहनियों को पास ले आएं। हाथों को पीठ के साथ रखें, कंधों को सहारा दें। कोहनियों को जमीन पर दबाते हुए और हाथों को कमर पर रखते हुए, अपनी कमर और पैरों को सीधा रखें। ऐसा करते हुए ध्यान रखें आपके शरीर का पूरा भार आपके कंधों और हाथों के ऊपरी हिस्से पर रहें। यदि गर्दन में तनाव महसूस हो रहा है तो आसन से बाहर आ जाएं। इस आसन में बने रहते हुए 30-60 सेकेंड तक लंबी गहरी सांसें लेते रहें।