prevent brain tumor; ब्रेन ट्यूमर से बचाने के लिए जानें एक्सपर्ट से लक्षण

Update: 2024-06-08 11:59 GMT
World Brain Tumor Day: शुरुआत के समय ही इसे पहचान कर इसका इलाज कराने से काफी हद तक बीमारी पर काबू पाया जा सकता है। डाक्टर का कहना है कि जेनेटिक पर्यावरण में बदलाव, मिलावट, मोबाइल, खानपान में प्लास्टिक का बढ़ता चलन ब्रेन ट्यूमर के प्रमुख कारण बन रहे हैं।
हेल्थ डेस्क, ग्वालियर। Brain Tumor Day आनुवांशिक कारणों के साथ बदलती जीवन शैली और गलत खानपान से ब्रेन ट्यूमर का खतरा बढ़ रहा है। जयारोग्य अस्पताल के न्यूरोसर्जरी विभाग की ओपीडी में उपचार के लिए पहुंचने वाले 100 मरीजों में पांच से दस मरीज ब्रेन ट्यूमर से पीड़ित है। यह परेशानी वाली बात है। फिलहाल, इसको लेकर सजगता बरतने की आवश्यकता है। मस्तिष्क में कोशिकाओं के असामान्य रूप से बढ़ने पर गांठ बन जाती है, इसे ब्रेन ट्यूमर कहते हैं। यह बीमारी सिर्फ मस्तिष्क ही नहीं बल्कि पूरे शरीर को प्रभावित करती है।
न्यूरोसर्जन कहते हैं कि शुरुआत के समय ही इसे पहचान कर इसका इलाज कराने से काफी हद तक बीमारी पर काबू पाया जा सकता है। डाक्टर का कहना है कि जेनेटिक पर्यावरण में बदलाव, मिलावट, मोबाइल, खानपान में प्लास्टिक का बढ़ता चलन ब्रेन ट्यूमर के प्रमुख कारण बन रहे हैं। न्यूरोसर्जन ने बताया कि ब्रेन ट्यूमर के सही और कारागार इलाज के दृष्टिकोण से किसी भी लक्षण को अनदेखा नहीं करने की सलाह मरीजों को दी जा रही है। उनका कहना है कि देश में प्रति एक लाख में पांच से दस केस ब्रेन ट्यूमर के हैं। यह बीमारी हर साल दो प्रतिशत बढ़ रही है। ऐसे में इस बीमारी के लक्षण नजर आने पर तत्काल चिकित्सक परामर्श लेना चाहिए। जिससे बीमारी शुरूआती दौर में ही पकड़ में आ जाए।
क्या होता है ब्रेन ट्यूमर? मस्तिष्क में जब सेल्स और टिश्यू की गांठ बन जाती है तो यह ब्रेन ट्यूमर का कारण बनती है। ब्रेन ट्यूमर को कैंसर के रूप में देखा जाता है, लेकिन ये कैंसर और बिना कैंसर वाले दोनों प्रकार के ही होते हैं। लेकिन ये बीमारी काफी खतरनाक होती है जिससे मौत का खतरा भी बढ़ जाता है। इसके कारणों को जानें तो, पांच फीसदी मामलों में ये जेनेटिक कारणों से हो सकता है यानी, एक से दूसरी पीढ़ी में ये बीमारी जा सकती है।
क्या है ब्रेन ट्यूमर के लक्षण? सुबह उठने पर अक्सर उल्टी होना, सिर में हमेशा दर्द बना रहना, शरीर का संतुलन बनाए रखने में परेशानी, रोजमर्रा के काम करने में परेशानी, बार-बार बेहोश हो जाना व याददाश्त कमजोर होना इसका प्रमुख लक्षण है। कभी-कभी बोलने की क्षमता पर भी असर पड़ने लगता है।
ऐसे होती है ब्रेन ट्यूमर की पहचान अगर व्यक्ति में ब्रेन ट्यूमर के लक्षण दिखने लगे तो न्यूरो के डाक्टर के पास जाएं। डाक्टर आपका हेड सीटी स्कैन और ब्रेन का एमआरआई करा सकते हैं। सर्जरी, कीमोथेरेपी, रेडियोथेरेपी व टार्गेटेड थेरेपी से इसका इलाज किया जाता है। क्या कहते हैं चिकित्सक ब्रेन ट्यूमर से बचने के लिए Vitaminsसी से भरपूर चीजें खाएं। यह मरीजों के ट्यूमर को तेजी से खत्म करने में मदद करता है। मिलावटी खाद्य पदार्थों से बचें, जंक फूड का सेवन न करें। खूब पानी पिएं। अगर परिवार में किसी को ब्रेन ट्यूमर है तो नियमित उसकी जांच कराते रहें।
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