सर्दियों में इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए डाइट में शामिल करें सरसों का साग

Benefits Of Mustard Greens: इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाने के लिए वैसे तो बहुत सी चीजें ऐसी हैं, जिनको डाइट में शामिल किया जा सकता है. लेकिन कम लागत में बेहतर टेस्ट के साथ अगर रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने की बात की जाये, तो इसके लिए आप सरसों के साग की मदद ले सकते हैं. सरसों का साग सर्दियों के मौसम में बेहद ही आसानी के साथ बहुत ही किफायती दामों में उपलब्ध हो जाता है. इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाने के साथ ये सेहत को कई और फायदे भी पहुंचाता है.

Update: 2021-11-26 05:45 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। सर्दियों के मौसम में बीमारी से दूरी बनाये रखने के लिए जरूरी है इम्यूनिटी (Immunity) को स्ट्रांग बनाये रखना. अब इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाने के लिए वैसे तो बहुत सी चीजें ऐसी हैं जिनको डाइट में शामिल किया जा सकता है. लेकिन कम लागत में बेहतर टेस्ट के साथ अगर इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाने की बात की जाये, तो इसके लिए आप सरसों के साग (Mustard Greens) की मदद ले सकते हैं. सरसों का साग इम्यूनिटी को बढ़ाने के साथ कई और फायदे (Benefits) भी सेहत को पहुंचाने में मदद करेगा.

सरसों का साग ज्यादातर लोगों को पसंद होता है. साथ ही सर्दियों के मौसम में ये साग बेहद ही आसानी के साथ, बहुत ही किफायती दामों में उपलब्ध भी हो जाता है. इसका सेवन आप मक्के की रोटी, गेहूं की रोटी या किसी और तरह से भी अपनी पसंद के अनुसार कर सकते हैं. तो आइये जानते हैं कि सरसों का साग रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के साथ सेहत को और क्या फायदे दे सकता है.
इम्यून सिस्टम मजबूत होता है
इम्यून सिस्टम मजबूत करने में सरसों का साग अच्छी भूमिका निभाता है. सरसों के साग में पोटैशियम, कार्बोहाइड्रेट, फाइबर, शुगर, विटामिन ए, सी, डी, बी 12, मैग्नीशियम, आयरन और कैल्शियम जैसे पोषक तत्व होते हैं जो इम्यूनिटी को स्ट्रांग बनाने में मदद करते हैं.
कोलेस्ट्रॉल कंट्रोल में रहता है
सरसों का साग खाने से कोलेस्ट्रॉल कंट्रोल में रहता है, जिसके चलते हृदय भी सेहतमंद रहता है. जंक और फ़ास्ट फूड खाने की वजह से अक्सर कोलेस्ट्रॉल बढ़ने लगता है. जिसको सरसों का साग डाइट में शामिल करके कुछ हद तक सुधारा जा सकता है. इसलिए सर्दी के मौसम में डाइट में सरसों का साग जरूर शामिल करना चाहिए.
आयरन की कमी दूर होती है
शरीर में आयरन की कमी से खून की कमी होने लगती है. सरसों का साग खाने से आयरन की कमी दूर होती है. गर्भवती महिलाओं को अपनी डाइट में सरसों का साग जरूर शामिल करना चाहिए. क्योंकि ज्यादातर गर्भवती महिलाओं के शरीर में आयरन की कमी देखी जाती है.
बीमारियों का खतरा कम होता है
सरसों का साग डाइट में शामिल करने से तमाम तरह की बीमारियों के होने का खतरा भी कम हो जाता है. दरअसल सरसों के साग में काफी मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं. जो बीमारियों को दूर करने में फायदेमंद साबित होते हैं.


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