जनता से रिश्ता। पुरुषों और महिलाओं में हर्निया के लक्षण व नुकसान हर्निया को कुछ लोग आम बीमारी का नाम देते हैं परंतु यह कभी-कभी एक ऐसा रूप ले लेती है जिसकी पीड़ा सहना काफी मुश्किल हो जाता है। यह बीमारी किसी को भी हो सकती है वह चाहे पुरुष हो या स्त्री। अनुमान लगाया जाए तो यह बीमारी लगभग 40 से 50 की उम्र के बाद होने की संभावना बढ़ जाती है। यह बीमारी उन स्थानों पर सबसे पहले अपना प्रभाव डालती है, जिन स्थानों पर कभी ना कभी आपको चोट लग गई हो या मसल्स कमजोर रहती है। "inguinal hernia in hindi" 10% व्यक्तियों में ऑपरेशन करा लेने के बावजूद भी देखा गया है कि हर्निया फिर से उभर जाती है। और फिर से वही स्थिति बनी रहती है।
यदि ऑपरेशन दोबारा कराना पड़े, तो आपको काफी पीड़ा सहने के साथ-साथ जेब पर भारी पड़ सकता है। परंतु यदि ऑपरेशन लेप्रोस्कोपिक तकनीक के द्वारा कराया जाए तो हर्निया की समस्या उत्पन्न होने की संभावना 10% से घटकर 0.1% हो जाती है।Hernia ka desi ilaj
हर्निया क्या होता है-Hernia kya hota hai
हर्निया एक ऐसी बीमारी है जो ज्यादातर पेट में दिखाई देती है परंतु यह कभी-कभी कमर तथा जांघो पर भी हो सकता है। ये समस्या तब देखने को मिलती है जब पेट के अंदर मांसपेशियां किसी कारणवश कमजोर हो जाती हैं तो उस स्थान से आंतें बाहर निकलने लगती है। तथा उस जगह पर सूजन सी बन जाती है। देखा गया है अक्सर नाभि के आस पास, जांघ या फिर पेट के अंदर कभी ना कभी कराया हुआ ऑपरेशन के जगह पर हो जाता है।
हर्निया होने के कारण-hernia hone ke karan in hindi
हर्निया के शुरुआती दौर में तकलीफ कम रहती है, लेकिन जैसे-जैसे उसका आकार बड़ा होने लगता है तो दर्द काफी बढ़ जाता है, hernia ka desi ilaj क्योंकि इसमें सूजन आने के साथ-साथ वह बाहर की तरफ उभरने लगता है तो आइए जानते हैं हर्निया होने के कारण क्या हो सकते हैं।
1. हमेशा कब्ज बना रहना यह भी एक हर्निया होने का कारण हो सकता है। जिन लोगों को हमेशा कब्ज की समस्या बनी रहती है इससे उनके आंत पर दबाव पड़ता है। जिसकी वजह से हर्निया हो सकती है।
2. क्षमता से ज्यादा कोई भारी चीज नहीं उठाना चाहिए।
3. शौच व पेशाब करते समय ज्यादा जोर नहीं लगाना चाहिए
4. पुरानी फेफड़ों की बीमारी
5. उदर गुहा में तरल पदार्थ
6. टीवी अस्थमा जैसी बीमारियों के कारण यदि लगातार खांसी रहे तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएं इससे भी हर्निया पर अतिरिक्त प्रभाव पड़ता है।
7. लीवर से संबंधित कोई गंभीर बीमारी हो तो भी हर्निया जैसी बीमारी हो सकती है।
8. प्रोटीन की कमी, कुपोषण
9. ढलती उम्र या पैरालिसिस
10.प्रीमैच्योर बेबी, जो बच्चे समय से पहले जन्म लेते है तथा उनका वजन बहुत काम रहता है तो उनमें भी हर्निया होने की संभावना काफी ज्यादा होती है।
11.अचानक मोटापा बढ़ना
12.हर्निया महिलाओं में देखा गया है जब वो गर्भावस्था में होती है तो उस समय उनका पेट उभर जाता है और साथ ही पर दबाव भी पड़ता है जिसके कारण बाद में हर्निया की बीमारी होने की संभावना रहती है।
पुरुषों और महिलाओं में हर्निया के लक्षण
हर्निया की बीमारी किसी को भी हो सकती है, अक्सर पुरुषों में ज्यादा दिखाई देती है और कभी कभी महिलाओं तथा बच्चों में भी इसके लक्षण नजर आ जाते हैं। इसके लक्षण कई हैं जिन पर ध्यान देना आपको बेहद जरूरी है, जिससे हर्निया को गंभीर रूप लेने से रोका जा सके।
हर्निया कितने प्रकार का होता हैं?
हर्निया की बीमारी में वह चाहे पुरुष हो या महिला दोनों में अलग-अलग प्रकार का होता है। जिसके आधार पर इसे बांटा गया है। हर्निया शरीर में किसी भाग से निकलने के आधार पर विभाजित किया गया है तो आइए जानते हैं यह कितने प्रकार का होता है।
हर्निया पांच प्रकार के होते हैं:-
इनगुइनल हर्निया
हाइटल हर्निया
अम्बिलिकल हर्निया
इंसिज़नल हर्निया
स्पोर्ट्स हर्निया
इंग्वाइनल हर्निया क्या है-Inguinal hernia in hindi