जानिए मस्तिष्क और तंत्रिका की समस्याओं में काफी कारगर माने जाते हैं ये योगासन

भारत में योग का प्रचलन काफी प्राचीन रहा है। नेशनल सेंटर फॉर कॉम्प्लिमेंटरी एंड इंटीग्रेटिव हेल्थ (एनसीसीआईएच) के अनुसार, योग से होने वाले स्वास्थ्य लाभ को देखते हुए दुनियाभर में इसका अभ्यास किया जा रहा है।

Update: 2022-07-04 07:28 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। भारत में योग का प्रचलन काफी प्राचीन रहा है। नेशनल सेंटर फॉर कॉम्प्लिमेंटरी एंड इंटीग्रेटिव हेल्थ (एनसीसीआईएच) के अनुसार, योग से होने वाले स्वास्थ्य लाभ को देखते हुए दुनियाभर में इसका अभ्यास किया जा रहा है। वैकल्पिक चिकित्सा के रूप में योग के अभ्यास का चलन काफी तेजी से बढ़ा है। शोध में जिक्र मिलता है कि योग के अभ्यास की आदत बनाकर शरीर के अंगों के कार्य को सहज बनाने और कई प्रकार की बीमारियों के जोखिम को कम करने में मदद मिल सकती है। योग के अभ्यास की आदत विशेष रूप से मस्तिष्क और तंत्रिका तंत्र को स्वस्थ रखने में लाभकारी मानी जाती है, जिसके कई प्रकार के लाभ हैं।

योग का उद्देश्य मन, शरीर और आत्मा के बीच गहरा संबंध बनाना है। योगासन शरीर के रक्त प्रवाह में सुधार करने के साथ, हड्डियों को मजबूत बनाने, मांसपेशियों की जटिलताओं को कम करने और मस्तिष्क तथा तंत्रिका तंत्र के लिए काफी फायदेमंद माने जाते हैं।
तंत्रिका तंत्र का स्वस्थ रहना संपूर्ण शरीर को कार्य को व्यवस्थित बनाए रखने के लिए अति आवश्यक माना जाता है। आइए जानते हैं कि इसके लिए किन योगासनों का अभ्यास किया जाना चाहिए?
ध्यान मुद्राएं लाभकारी
शवासन या लोटस पोज जैसे अभ्यास आमतौर पर दिमाग पर सकारात्मक असर डालने वाले अभ्यास माने जाते हैं। ब्रेन प्लास्टिसिटी अध्ययन के अनुसार, सांस के प्रति जागरूकता बढ़ाने और मस्तिष्क को शांत रखने, एकाग्रता में सुधार करने और उम्र से संबंधित न्यूरोडीजेनेरेटिव समस्याओं से बचाने में ध्यान मुद्राओं का अभ्यास काफी कारगर माना जाता है। ये अभ्यास संपूर्ण शरीर को लाभ पहुंचाती हैं।
तंत्रिका तंत्र के लिए योग
तंत्रिका तंत्र पूरे शरीर में फैला होता है। तंत्रिका तंत्र को शांत करने के लिए, चाइल्ड पोज या फिर अधोमुख शवासन योग का अभ्यास विशेष लाभकारी हो सकता है। ये योगासन पैरासिम्पेथेटिक नर्वस सिस्टम (PNS) को आराम देने के साथ चिंता और तनाव को कम करने में सहायक होते हैं। तंत्रिका तंत्र के स्वस्थ रहने से संपूर्ण शरीर की कार्यतक्षमता में सुधार आता है। इसके नियमित अभ्यास की आदत बनाएं।
सर्वांगासन योग का करें अभ्यास
सर्वांगासन को सभी आसनों की जननी भी कहा जाता है। यह आसन फोकस और एकाग्रता में सुधार करता है। योग विशेषज्ञों के अनुसार, सर्वांगासन आपके शरीर के सभी चक्रों और अंगों को संलग्न करता है। यह आसन आपके दिमाग को पोषण देने और उसे स्वस्थ रखने के लिए कारगर माना जाता है। सर्वांगासन योग का नियमित अभ्यास मस्तिष्क में रक्त के संचार को बढ़ाने वाले सबसे प्रभावी आसनों में से एक है।
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