केंद्र सरकार ने स्पूतनिक लाइट को बूस्टर डोज के तौर पर इस्तेमाल की दी मंजूरी

देशभर में एक बार फिर से कोरोना मामलों में जमकर बढ़ोतरी देखने को मिल रही है.

Update: 2022-05-07 02:21 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। देशभर में एक बार फिर से कोरोना मामलों में जमकर बढ़ोतरी देखने को मिल रही है. इस बीच, केंद्र सरकार ने शुक्रवार को स्पूतनिक लाइट (Sputnik light) को बूस्टर डोज के रूप में इस्तेमाल करने की मंजूरी दे दी है. इसको लेकर नेशनल टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ऑन इम्यूनाइजेशन (NTAGI) की एक समिति ने एक सप्ताह पहले स्पूतनिक-वी (Sputnik V) वैक्सीन को बूस्टर डोज के तौर पर दिए जाने की सिफारिश की थी. सरकार के इस फैसले के बाद स्पूतनिक वी की पहली खुराक लेने वाले लगभग 650,000 लोग अब निजी टीकाकरण केंद्रों पर बूस्टर डोज ले पाएंगे. मामले के जानकार लोगों ने बताया है कि इसकी डीटेल जल्द से जल्द सुनिश्चित की जानी चाहिए.

नाम न छापने की शर्त पर उन्होंने बताया कि यह सुनिश्चित करने के लिए प्रक्रिया भी जल्द से जल्द शुरू होनी चाहिए कि जिन लोगों ने स्पूतनिक वी लिया है, उन्हें उनकी बूस्टर खुराक मिल जाएगी. मौजूदा समय में फार्मा कंपनी डॉ रेड्डीज लैबोरेटरीज के पास रूसी एंटी-कोविड वैक्सीन की मार्केटिंग और वितरण का अधिकार है. इसके मद्देनजर बताया जा रहा है कि उन्होंने स्पूतनिक-वी को CoWIN प्लेटफॉर्म पर विकल्प उपलब्ध कराने के लिए मैन्युफैक्चरिंग पार्टनर्स, अस्पतालों और सरकार के साथ भी चर्चा शुरू कर दी है.
उन्होंने अपने बयान में कहा, 'अब मंजूरी की आधिकारिक पुष्टि मिलने के बाद, हम भारत में मैन्युफैक्चरिंग पार्टनर्स के साथ काम कर रहे हैं.' एक अन्य अधिकारी ने बताया कि पिछले साल स्पूतनिक-वी की शुरुआती डोज रूस से आई थी, लेकिन बूस्टर डोज के लिए भारतीय निर्माताओं ने रूस के साथ पार्टनरशिप की है. चूंकि, मात्रा बहुत बड़ी नहीं है, इसलिए सभी को इसके निर्माण के लिए नहीं कहा जा सकता है.
बता दें कि अब तक उन लोगों के लिए तीसरी डोज को लेकर काफी कंफ्यूजन थी, जिन्होंने स्पूतनिक वैक्सीन ली थी. ऐसा इसलिए हैं, क्योंकि कोविन एप्लीकेशन पर प्रीकॉशन डोज के लिए स्पूतनिक का विकल्प नहीं दिखाई दे रहा था. स्पूतनिक-वी की दो खुराक 21-30 दिनों के अंतराल पर दी जाती है. एक अधिकारी ने बताया कि टीके की पहली खुराक में एक रीकॉम्बिनेंट एडेनोवायरस टाइप 26 (rAd26-S) और दूसरी खुराक में एक रीकॉम्बिनेंट एडेनोवायरस 5 (rAd5-S) होता ह. गौरतलब है कि स्पूतनिक लाइट टीके को अर्जेंटीना और रूस सहित 29 देशों ने मंजूरी दी है.
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