वित्त मंत्री ने राज्य सभा में दिया जवाब, 1 अप्रैल से लागू होगा 30 प्रतिशत टैक्स का नियम
उन्होंने यह भी कहा कि इस पर रोक लगाने के बारे में फैसला विचार-विमर्श से होने वाले निर्णय के आधार पर किया जाएगा
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। FM on Cryptocurrency : फाइनेंस मिनिस्टर निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने क्रिप्टो करेंसी पर एक बार फिर सरकार का रुख साफ किया. उन्होंने कहा क्रिप्टो करेंसी के ट्रांजेक्शन से होने पर फायदे पर टैक्स लगाना सरकार का अधिकार है. उन्होंने यह भी कहा कि इस पर रोक लगाने के बारे में फैसला विचार-विमर्श से होने वाले निर्णय के आधार पर किया जाएगा.
वित्त मंत्री ने आम बजट पर दिया चर्चा का जवाब
सीतारमण ने राज्यसभा में आम बजट पर चर्चा का जवाब देते हुए कहा, 'मैं इस समय क्रिप्टो करेंसी को वैलिड करने या पाबंदी लगाने नहीं जा रही हूं. इस पर रोक लगेगी या नहीं, इस बारे में कोई भी फैसला विचार- विमर्श से निकलने वाले निर्णय के आधार पर ही किया जाएगा.'
...टैक्स लगाना सरकार का अधिकार
क्रिप्टो करेंसी से होने वाले प्रॉफिट पर टैक्स लगाने के बारे में उन्होंने कहा, 'इसे वैलिड करना या नहीं करना, यह अलग सवाल है. लेकिन मैंने टैक्स लगाया है क्योंकि टैक्स लगाना सरकार का अधिकार है.' फाइनेंस मिनिस्टर आज कांग्रेस की छाया वर्मा की तरफ से क्रिप्टो करेंसी पर उठाए गए सवाल का जवाब दे रही थीं. वर्मा की तरफ से क्रिप्टो करेंसी पर टैक्स लगाने की वैधता के बारे में पूछा गया था.
'डिजिटल रुपी' को ही डिजिटल करेंसी के तौर पर मान्यता
आपको बता दें कि निर्मला सीतारमण की तरफ से 1 फरवरी को संसद में पेश बजट में क्रिप्टो करेंसी के ट्रांजेक्शन पर 30 प्रतिशत टैक्स की बात कही गई थी. इसके बाद से निवेशकों के बीच सरकार की तरफ से इसे वैलिड किए जाने की चर्चा होने लगी. वित्त मंत्री ने अपने बजट भाषण में कहा था कि केवल आरबीआई की तरफ से जारी 'डिजिटल रुपी' (Digital Rupee) को ही डिजिटल करेंसी की मान्यता दी जाएगी.
1 अप्रैल से लागू होगा नया नियम
सरकार 1 अप्रैल से किसी भी डिजिटल संपत्ति या क्रिप्टो करेंसी के लेन-देन से होने वाले फायदे पर 30 प्रतिशत टैक्स लगाएगी. वित्त वर्ष 2022-23 के बजट में एक साल में 10,000 रुपये से अधिक ऑनलाइन डिजिटल मुद्रा मद में भुगतान पर एक प्रतिशत टीडीएस (स्रोत पर कर कटौती) लगाने का भी प्रस्ताव है. साथ ही इस प्रकार की संपत्ति उपहार देने पर भी काराधान का प्रस्ताव किया गया है.
टीडीएस के लिये सीमा निर्धारित व्यक्तियों के लिये 50,000 रुपये सालाना होगी. इसमें व्यक्ति / हिंदू अविभाजित परिवार शामिल हैं. उन्हें आयकर कानून के तहत अपने खातों का ऑडिट कराने की जरूरत होगी. साथ ही इसमें लेन-दने से होने वाली आय की गणना के समय किसी प्रकार के व्यय या भत्ते को लेकर कटौती का कोई प्रावधान नहीं है. क्रिप्टो करेंसी पर एक प्रतिशत टीडीएस का प्रावधान एक जुलाई, 2022 से जबकि लाभ पर कर एक अप्रैल से प्रभाव में आएगा.