अंतरिक्ष में एक जोरदार विस्फोट हुआ है। वैज्ञानिकों का मानना है कि यह खगोलीय घटना तारों के ब्लैक होल से टकराने की वजह से हुई है। गामा किरणों के इस विस्फोट को एक स्पेस टेलिस्कोप और नासा की एक ऑब्जर्वेट्री ने देखा है। यूनिवर्सिटी ऑफ लीसेस्टर के भौतिकविदों सहित वैज्ञानिकों की एक टीम ने इस विस्फोट को दुर्लभ ब्रह्मांडीय घटना करार दिया है, जो कुछ मिनट लंबा था। उन्हें उम्मीद है कि उनकी रिसर्च भविष्य में इस तरह की घटनाओं पर अध्ययन करने में मददगार साबित होगी।
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गामा किरणों का विस्फोट ब्रह्मांड में सबसे शक्तिशाली विस्फोट होता है। पास की एक आकाशगंगा से इस विस्फोट का पता दिसंबर 2021 में चला था। वैज्ञानिकों ने इस धमाके को GRB 211211A नाम दिया है। यह अपेक्षाकृत लंबा था जिससे उम्मीद से अधिक इन्फ्रारेड प्रकाश निकला। उनके शोध से पता चलता है कि प्रकाश एक किलोनोवा से आया है। किलोनोवा तारों से संबंधित एक खगोलीय घटना है जिसमें न्यूट्रॉन सितारे और ब्लैक होल आपस में टकराते हैं।
क्या स्पेस में होती हैं सोने की फैक्ट्रियां?
रिसर्च टीम का नेतृत्व अमेरिका में नॉर्थवेस्टर्न यूनिवर्सिटी के जिलियन रस्टिनेजाद ने किया। इसमें बर्मिंघम और लीसेस्टर के विश्वविद्यालयों के साथ-साथ नीदरलैंड की रेडबौड यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञ भी शामिल थे। शोधकर्ताओं ने कहा कि उनका मानना है कि विस्फोट से सोना और प्लेटिनम जैसे तत्व पैदा हुए थे। यूनिवर्सिटी ऑफ बर्मिंघम के एक एसोसिएट प्रोफेसर डॉ मैट निकोल ने कहा कि यह रिसर्च इस बात का समर्थन करती है कि किलोनोवा 'ब्रह्मांड में सोने के मुख्य कारखाने हैं'।
अब जाकर दिख 8.5 अरब साल पुराना विस्फोट
इसी तरह फरवरी में वैज्ञानिकों ने एक तेज रौशनी को देखा था। यह एक तारे से आई थी जो सुपरमैसिव ब्लैक होल के बेहद करीब पहुंच गया था। ब्लैक होल के गुरुत्वाकर्षण क्षेत्र में पहुंचने से सितारे के टुकड़े-टुकड़े हो गए थे। यह दुर्लभ घटना धरती से 8.5 अरब प्रकाश वर्ष दूर हुई थी। इसका मतलब है कि यह सितारा 8.5 अरब साल पहले टूटा था जिससे निकला प्रकाश अब धरती तक पहुंचा है।