Holika Dahan Pooja Samagri 2021: होलिका दहन करने के लिए इन वस्‍तुओं के बिना अधूरी है पूजा, जानें पूरी सामग्री

होलिका दहन

Update: 2021-03-27 14:49 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क: होलिका दहन हर साल फाल्‍गुन मास की पूर्णिमा को किया जाता है और इस साल य‍ह तिथि रविवार 28 मार्च को पड़ रही है। होलिका दहन का विशेष पौराणिक महत्‍व माना जाता है और इससे पहले होलिका की पूजा भी की जाती है। ऐसा माना जाता है कि होलिका की पूजा में कुछ जरूरी वस्‍तुओं का होना अनिवार्य होता है और इनके बिना होली की पूजा को पूर्ण नहीं माना जाता है। आइए जानते हैं क्‍या सामग्री चाहिए होती है होली की पूजा में और कैसे करते हैं होलिका दहन…

पूजा की सामग्री
गोबर से बनी होलिका और प्रहलाद की प्रतिमाएं, माला, रोली, फूल, कच्‍चा सूत, साबुत हल्‍दी और मूंग साबुत और बताशे, गुलाल और 5 या फिर 7 प्रकार के अनाज, गन्‍ना, गेंहू की बालियां, एक कलश जल, मीठे पकवान और मिठाइयां और फल ले आएं।
होलिका की पूजाविधि
होलिका दहन से पूर्व होली की विधि विधान से पूजा की जाती है और इसकी परिक्रमा की जाती है। सबसे पहले होली को हल्‍दी से टीका करें। हल्‍दी से पूजा करना सबसे शुभ माना जाता है। उसके बाद होलिका के चारों ओर अबीर और गुलाल छिड़कें। उसके बाद मिठाई, फल और गुजिया अर्पित करें। होलिका के चारों ओर 7 बार परिक्रमा करें और जल चढ़ाएं। ऐसा माना जाता है होलिका दहन से पहले पूजा करने से आपको हर प्रकार के भय से मुक्ति मिलती है और आपके ग्रहदोष का प्रभाव भी कम होता है।
होली की आग में जरूर डालें ये 5 चीजें
होली की आग को बेहद पवित्र अग्नि के रूप में मान्‍यता प्राप्‍त है और माना जाता है कि इस आग में धार्मिक महत्‍व की कुछ वस्‍तुओं को चढ़ाना अनिवार्य होता है। होली की आग में गेहूं की बाली, गन्‍ना, सरसों के दाने, हरे चने और पकवान डालने का विशेष महत्‍व माना गया है। उत्‍तर भारत के कुछ स्‍थानों पर गेहूं की बाली को होली की आग में भूनकर मित्रों और रिश्‍तेदारों को बांटने की भी परंपरा है। माना जाता है कि नई फसल के दाने बांटने से आपसी रिश्‍ते मतबूत होते हैं और आपके घर में भी खुशहाली आती है।


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