शिया व सुन्नी उलमा ने सामाजिक बहिष्कार का किया एलान, मुसलमान नहीं वसीम रिजवी कब्रिस्तान में दफनाया नहीं जा सकता

शिया व सुन्नी उलमा ने एक मंच पर आकर वसीम को इस्लाम और कुरान का दुश्मन और आतंकवादी करार देते हुये उसके सामाजिक बहिष्कार का एलान किया।

Update: 2021-03-14 17:58 GMT

शिया वक्फ बोर्ड के पूर्व चेयरमैन वसीम रिजवी के कुरान मजीद से 26 आयतों को हटाने के बयान और सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की गई याचिका के विरोध में रविवार को शिया व सुन्नी उलमा ने एक मंच पर आकर वसीम को इस्लाम और कुरान का दुश्मन और आतंकवादी करार देते हुये उसके सामाजिक बहिष्कार का एलान किया।

उलमा ने वसीम को मुरतद यानि दीन से खारिज बताते हुए कहा कि अब वह मुसलमान नहीं हैं, लिहाजा उन्हें मुस्लिम कब्रिस्तान में दफनाया भी नहीं जा सकता है। यहां तक कि कोई भी आलिम उसके जनाजे की नमाज भी न पढ़ाये। उलमा ने केन्द्र व राज्य सरकार को ज्ञापन प्रेषित कर वसीम को गिरफ्तार करने की मांग की। साथ ही मांग की गई कि सुप्रीम कोर्ट उसकी याचिका खारिज कर भारी जुर्माना लगाने और आतंकवाद फैलाने के जुर्म में मामला दर्ज करे। तय हुआ कि 19 मार्च को जुमे की नमाज के बाद दिल्ली की जामा मस्जिद पर शिया व सुन्नी समुदाय मिलकर बड़ी रैली करेंगे।

दरअसल वसीम ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर कुरान मजीद से 26 आयतों हो हटाने की मांग की थी। वसीम का तर्क है कि कुरान की ये आयतें आतंकवाद को बढ़ावा देती हैं। वसीम के बयान और याचिका के विरोध में उलमा ने ताहफ्फुजे कुरान रैली का आयोजन किया था। बड़ा इमामबाड़ा के सामने अजादारी रोड़ पर विरोध प्रदर्शन में शिया और सुन्नी समुदाय के सैकड़ों लोगों ने शामिल होकर अपनी नाराजगी जताई। प्रदर्शन की अगुवाई कर रहे मजलिस उलेमा ए हिन्द के महासचिव एवं इमामे जुमा मौलाना सैयद कल्बे जव्वाद नकवी ने कहा कि वसीम ने कुरान से आयतें हटाने की बात कह कर कुरान का अपमान किया है। इस तरह की मांग कोई भी मुसलमान नहीं कर सकता है। मौलाना ने कहा कि कुरान का अपमान करने वाला मुरतद यानि दीन से खारिज है। ऐसे में वसीम इस्लाम और कुरान का दुश्मन है और अब वह मुसलमान नहीं है। उसकी हरकत आतंकवादी की है लिहाजा वसीम का सामाजिक बहिष्कार किया जाएगा।
मौलाना ने मुसलमानों से अपील करते हुये कहा कि वसीम और उसके साथियों का सामाजिक बहिष्कार करें और उसे किसी मजलिस, महफिल, शादी समारोह के साथ अन्य कार्यक्रम में शामिल न होने दे। मौलाना ने कहा कि ऐसा न करने वाला भी वसीम की तरह कुरान के अपमान का दोषी माना जाएगा और उसका भी सामाजिक बहिष्कार होगा। मौलाना जव्वाद ने कहा कि वसीम कुरान के अपमान का दोषी और पैगम्बरे इस्लाम मोहम्मद सल्ल. की सुन्नत के लिहाज से ऐसा इंसान मुसलमान नही हो सकता, इसलिये वसीम अब किसी भी मुस्लिम संगठन और बोर्ड का सदस्य नहीं बन सकता। उन्होंने कहा कि भारत सरकार को इस बिन्दु पर ध्यान केन्द्रित करना चाहिये। अब उसे किसी भी मुस्लिम संस्थान में नहीं लाया जा सकता है। मौलाना ने कहा सरकार अगर उसे गिरफ्तार नहीं करती है तो समझा जाएगा कि सरकार भी उसका समर्थन कर रही है। उन्होंने कहा कि जब तक वसीम की गिरफ्तारी नहीं होगी आंदोलन जारी रहेगा। सुप्रीम कोर्ट के वकील महमूद प्राचा ने कहा कि वसीम की हरकतों से साबित होता है वह भारत विरोधी ताकतों का एजेंट है। उसके खिलाफ एनआईए से जांच कराकर सजा दिलवाई जाये।
सुन्नी धर्मगुरू मौलाना सलमान नदवी ने मुस्लिम एकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि हमारे बीच तौहीद, पैगम्बर और कुरान को लेकर मतभेद नहीं है। पदमभूषण स्व. मौलाना कल्बे सादिक के बेटे मौलाना कल्बे सिब्तैन नूरी ने कहा कि कुरान अल्लाह का कलाम है, इसमें किसी भी तरह का बदलाव नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि ईरान सहित कई उलमा का फतवा है कि कुरान का अपमान करने वाला मुसलमान नहीं है। उन्होंने तालकटोरा कब्रिस्तान के मुतवल्ली से अपील करते हुये कहा कि वसीम ने अपने लिये जो कब्र की जगह तय की है वो किसी आलिम को दे दी जाये क्योंकि मुस्लिम कब्रिस्तान में उन्हें नहीं दफनाया जा सकता है।

प्रदर्शन में शामिल महिलाओं और पुरुषों ने वसीम के पोस्टर को पैरों से रौंद कर और चप्पलों से पीट कर अपनी नाराजगी जताई। यहां तक कि वसीम के नाम के आगे से रिजवी हटाकर मुरतद शब्द का इस्तेमाल कर नारेबाजी की। कुरान का अपमान करने पर वसीम रिजवी के छोटे भाई जहीर रिजवी ने वीडियो जारी कर वसीम से रिश्ता खत्म करने की बात की। उन्होंने कहा कि वसीम पूरी तरह से पूरी तरह पागल हो चुके हैं। उनका हमसे, मेरी मां सहित पूरे परिवार से किसी भी तरह का रिश्ता नही है। उन्होंने कहा कि वसीम से आगे भी कोई रिश्ता नही रखना चाहता है।


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