Raisen जिला बचाओ संघर्ष समिति ने लिया संकल्प, सांची को किसी भी सूरत में विदिशा में शामिल नहीं होने देंगे
Raisen रायसेन। मप्र सरकार द्वारा प्रदेश के जिलों का परिसीमन ओर नई तहसीलों के गठन की कवायद के लिए कमेटी बनाने के साथ साथ अभी से विरोध के स्वर गूंजने लगे हैं।प्राप्त जानकारी के मुताबिक रायसेन जिले में स्थित विश्व धरोहर साँची को विदिशा ओर औधोगिक नगरी मंडीदीप को भोपाल राजधानी में मिलाने का प्रस्ताव सरकार बना रही हैं। जिसकी भनक लगते ही रायसेन में जिम्मेदार नागरिक अपनी आवाज़ को बुलन्द करने के लिए जिला बचाओ संघर्ष समिति का गठन कर जिले के विभाजन का प्रस्ताव को सिरे से खारिज करते हुए जिले के भौगोलिक क्षेत्रफल में बदलाव को अस्वीकार कर दिया है। यह रायसेन संघर्ष समिति चरणबद्ध तरीके से आंदोलन की रूप रेखा तैयार कर अब इसे लंबा चलाने की तैयारी कर रही है।
जिला मुख्यालय पर महामाया चौक गांधी प्रतिमा से आज एक जागरूकता रैली का आयोजन किया गया जो स्थानीय महामाया चौक से भारत माता चौराहे स्थित रायसेन जिला बचाओ संघर्ष समिति कार्यालय पहुंचा ।जहां रायसेन जिला बचाओ संघर्ष समिति के सदस्यों सहित गणमान्य नागरिकों ने रायसेन जिले सांची और मंडीदीप को बचाने के लिए कमर कसने की बात कही। समिति के सदस्यों सहित सभी ने एक स्वर में कहा कि रायसेन जिले का विश्व बौद्ध पर्यटन स्थल सांची और औधोगिक नगरी मंडीदीप दोनों ही जगह से रायसेन की पहचान है। और हम सभी इस पहचान को बचाने के लिए अपने खून की एक एक बूंद दे देंगे। लेकिन सांची और मंडीदीप को रायसेन जिले से बाहर नहीं जाने देंगे। इस जागरूकता रैली में नगर के व्यापारी सभी दलों के लोग एव जिला बार काउंसिल के साथ सामाजिक संगठनों एव स्थानीय पत्रकार भी बड़ी संख्या में शामिल हुए।