गंजापन की समस्या सिर्फ पुरुषों में ही क्यों होती है? जानिए इसके कारण
पुरुषों के शरीर में कुछ एंजाइम ऐसे होते हैं जो टेस्टोस्टेरॉन को डिहाइड्रोटेस्टोस्टेरॉन में बदल देते हैं. डिहाइड्रोटेस्टोस्टेरॉन बालों को पतला और कमजोर बनाता है.
पुरुषों में गंजापन इतना आम है कि इसे लेकर 'बाला' और 'उजड़ा चमन' जैसी फिल्में भी बन चुकी हैं. 50 की उम्र तक आते-आते ज्यादातर पुरुषों की चांद नजर आने लगती है.
उम्र के साथ क्यों उड़ जाते हैं पुरुषों के सिर से बाल, महिलाओं में क्यों नहीं होता गंजापन
अक्सर देखा जाता है कि उम्र के साथ-साथ पुरुषों के सिर के बाल भी उड़ने लगते हैं. 50 का आंकड़ा पार करते-करते चांद नजर आने लगती है. ज्यादातर बाल या तो माथे की तरफ से स्थायी रूप से झड़ते हैं, या फिर क्राउन एरिया के बाल उड़ जाते हैं. कई बार तो वे पूरी तरह गंजे हो जाते हैं.
पुरुषों में गंजापन इतना आम है कि इसे लेकर 'बाला' और 'उजड़ा चमन' जैसी फिल्में भी बन चुकी हैं. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि ये समस्या सिर्फ पुरुषों में ही क्यों होती है? बाल झड़ने की दिक्कत तो महिलाओं को भी होती है, लेकिन वे सामान्यतः गंजेपन की शिकार नहीं होतीं. आइए जानते हैं इसकी वजह.
हार्मोन होते हैं जिम्मेदार
तमाम शोध बताते हैं कि गंजेपन की समस्या के लिए टेस्टोस्टेरॉन नामक सेक्स हार्मोन इसके जिम्मेदार होता है. ये पुरुषों में स्रावित होने वाले एंड्रोजन समूह का स्टेरॉयड हार्मोन है. पुरुषों के शरीर में कुछ एंजाइम ऐसे होते हैं जो टेस्टोस्टेरॉन को डिहाइड्रोटेस्टोस्टेरॉन में बदल देते हैं. डिहाइड्रोटेस्टोस्टेरॉन बालों को पतला और कमजोर बनाता है.
कई बार आनुवांशिक होती है समस्यागंजापन की समस्या सिर्फ पुरुषों में ही क्यों होती है? जानिए इसके कारण
जब डिहाइड्रोटेस्टोस्टेरॉन ज्यादा होता है तो हेयर फॉलिकल्स में मौजूद एंड्रोजन रिसेप्टर्स इस हॉर्मोन को ज्यादा सोखने लगते हैं. इसकी वजह से बाल तेजी से झड़ना शुरू हो जाते हैं. कई बार हार्मोंस में ये बदलाव करने वाले एंजाइम पुरुषों को जीन्स में मिलते हैं. ऐसे में ये समस्या आनुवांशिक हो जाती है.