जानिए सर्दी के मौसम में सुबह-सुबह ज्यादा वॉक करना ,सेहत पर क्या असर होगा

सेहतमंद जिंदगी की कुंजी है मॉर्निंग वॉक, लेकिन सर्द मौसम में ये आपके लिए थोड़ी परेशानियां पैदा कर सकती है।

Update: 2020-12-21 12:02 GMT

जनता से रिश्ता बेवङेस्क| सेहतमंद जिंदगी की कुंजी है मॉर्निंग वॉक, लेकिन सर्द मौसम में ये आपके लिए थोड़ी परेशानियां पैदा कर सकती है। सर्दी में सुबह सवेरे उठना बेहद आलस का काम है, ऐसे मौसम में जल्दी सुबह की सैर पर जाना आपकी सेहत को नुकसान पहुंचा सकता है। सुबह सवेरे स्मॉग या धुंध ज्यादा होता है। स्मॉग में मुख्य रूप से महीन कण, कार्बन मोनोऑक्साइड कार्बन डाइऑक्साइड  सल्फर डाइऑक्साइड और नाइट्रोजन ऑक्साइड और ओजोन की तरह हानिकारक गैसें होती हैं, जो हवा को हानिकारक प्रदूषक बनाती हैं। सर्दी के मौसम में आप सुबह 7 बजे से पहले मॉर्निंग वॉक पर जाते हैं तो आप बीमार हो सकते हैं। सर्दियों की ठंडी हवाएं और सुबह की हवा में मौजूद सर्द नमी आपकी सेहत को नुकसान पहुंचा सकती है। इस मौसम में आप मॉर्निंग वॉक पर जाते हैं तो थोड़ा संभल जाइए। आइए हम आपको बताते है कि सर्द मौसम में आपको मॉर्निंग वॉक पर जाते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए।

सुबह सवेरे वॉक करने से बचें:

आप सर्दियों में मॉर्निंग वॉक पर जाना चाहते हैं तो 7 बजे के बाद वॉक पर जाएं। सुबह सवेरे वॉक करने से बचें। सर्दियों की सर्द हवाएं और सुबह की नमी आपके लिए घातक हो सकती है। सूरज की धूप में वॉक और व्यायाम करने से आप ज्यादा फ्रेश फील करेंगे साथ ही ठंड से होने वाले नुकसान से भी बच पाएंगे।

गर्म कपड़े पहनकर करें सैर:

सर्दी में वॉक करने से बॉडी गर्म हो जाती है और गर्मी महसूस होती है इसका मतलब ये नहीं कि आप गर्म कपड़े नहीं पहनें। आप सुबह जब भी वॉक करने जाएं तो गर्म कपड़े पहन कर ही वॉक पर निकलें। गर्म कपड़े आपको सर्दी से बचाने के साथ ही आपकी बॉडी में हीट भी बनाए रखते हैं।

ठंडा पानी और ठंडे खाने से परहेज करें:

वॉक से आने के बाद ठंडा पानी बिल्कुल नहीं पिएं। आप पानी पीना चाहते हैं तो गर्म पानी पीएं। ठंडे भोजन से भी परहेज करें।

हार्ट के रोगी रखे ख़ास ध्यान:

सर्दियों में हार्ट पेशेंट्स को सुबह जल्दी व्यायाम नहीं करना चाहिए। सर्दियों में सुबह वातावरण में नमी रहती है जो दिल के रोगियों के लिए खतरनाक साबित हो सकती है। स्मॉग छटने के बाद टहलना आपकी सेहत के लिए बेहतर होगा।

बुजुर्ग लोग रखें खास ख्याल:

बुजुर्ग लोगों को चाहिए कि वो सुबह 11 या 11.30 बजे के बाद ही सैर पर निकलें। बुजुर्गों को सुबह 6 या 7 बजे की सैर से बचना चाहिए। सुबह बाहरी हवा में दूषित गैसों का स्तर अधिक रहता है इसलिए बेहतर है कि बुजुर्ग लोग घर में ही रहें। इनडोर हवा किसी भी समय बाहरी हवा की तुलना में कम प्रदूषित होगी।

अस्थमा और सांस की बीमारियों के मरीज करें परहेज:

स्मॉग से भरी हवा में लगातार साँस लेने से सांस की नली में जलन, पाइप में सूजन, फेफड़ों और छाती में जमाव और घरघराहट की शिकायत हो सकती है। इसलिए ऐसे मरीज सुबह सवेरे ठंडी हवा में निकलने से परहेज करें।

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