इस तरह बनाए अपने घर की इंडोर की हवा को बनाएं साफ और हेल्दी

घर के अंदर रहना प्रदूषण से सुरक्षित रहने की आम धारणा है. अंदर की खराब वायु गुणवत्ता एलर्जी और सांस की बीमारी को बढ़ा सकती है

Update: 2021-09-29 17:06 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। वायु प्रदूषण दुनिया के लिए बड़ी समस्या और चिंता का मामला बन गया है. विश्व स्वास्थ्य संगठन का कहना है कि वायु प्रदूषण से होनेवाले नुकसान के कारण हर साल करीब 70 लाख लोगों को जिंदगी से हाथ धोना पड़ रहा है. घर से बाहर रहने पर आपके शरीर को कई प्रदूषकों, एलर्जी की चपेट में आने का जोखिम होता है जिससे आपकी सेहत को नुकसान पहुंच सकता है. ऐसे में वायु प्रदूषण से बचने के लिए क्या घर के अंदर रहा जाए?

ये आम गलतफहमी है कि अंदर रहना वायु प्रदूषण से बचाने में मदद कर सकता है. धारणा के विपरीत अगर घर के अंदर की हवा पर उचित ध्यान न दिया जाए तो ये उतना ही खतरनाक हो सकती है जितना कि बाहर की हवा. घर के बाहर वायु प्रदूषण में सुधार रातों रात नहीं किया जा सकता बल्कि घर के अंदर की हवा को शुद्ध, साफ और सुरक्षित बनाने के लिए कुछ उपाय किए जा सकते हैं. घर के अंदर वायु की गुणवत्ता को सुरक्षित और हेल्दी आप इस तरह कर सकते हैं.
घर में पौधों की देखभाल करें- घर के पौधे जगह की सौंदर्यता में इजाफा करते हैं और माहौल को जीवित बनाते हैं. जितना महत्वपूर्ण है घर के लिए सही पौधों का चुनाव, उतना ही अहम है उनकी नियमित देखभाल करना. पौधे फफूंद के लिए प्रजनन स्थल हो सकते हैं जो अंदर की वायु गुणवत्ता में रुकावट पैदा कर सकते हैं और एलर्जी वाले लोगों को जोखिम में डाल सकते हैं. इसलिए ऑक्सीजन के हेल्दी स्रोत वाले पौधे रखें. उसके अलावा, साइड टेबल के पास जैसी जगहों में रखने से बचें क्योंकि उनका लोगों से सीधा संपर्क हो सकता है.
घर में अच्छा वेंटिलेशन रखें- बंद जगह दूषित हवा का कारण बन सकती है. अंदर के प्रदूषक बाहर से ताजी हवा की जगह लेने में अक्षम होते हैं. इसलिए अपने घर में अच्छा वेंटिलेशन रखना सुनिश्चित करें. वेंटिलेशन तापमान नियंत्रण सुनिश्चित करने के लिए भी आवश्यक है. मौसम के बावजूद अपने घर की खिड़कियां और दरवाजों को अंदर ताजी हवा आने के लिए नियमित खोलें.
गलीचे और कालीन को साफ करें- गलीचे और कालीन अक्सर घर में सजावट के लोकप्रिय हिस्से के तौर पर शामिल किए जाते हैं. ये जगह को आरामदायक और घरेलू बना सकते हैं. लेकिन विकल्पों के साथ कुछ जिम्मेदारियां भी जुड़ी होती हैं. इसलिए रेशेदार साज-सज्जा की उचित देखभाल करना याद रखें. धूल के कण और दूसरे सूक्ष्म पदार्थ कालीन के अंदर आसानी से फंस सकते हैं और ये एलर्जी और सांस की समस्या से पीड़ित लोगों के लिए परेशानी खड़ी कर सकते हैं. कालीन और गलीचे की सफाई के अलावा, पर्दे, बिस्तर और सोफे की भी नियमित देखभाल करने की आदत डालें.


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