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क्या शातिर आफताब पुलिस को कर रहा है गुमराह, क्या सच में पुलिस को जंगल से श्रद्धा की हड्डियां मिलीं
दिल्ली क्राइम न्यूज़: 12 मिनट के कबूलनामे के बाद शातिर आफताब पुलिस को शव के टुकड़े फेेंकने वाली जगह पहली बार में सटीक बताता है और बाद में बयानों से पलट जाता है। कुछ हड्डियों के टुकड़े भी पुलिस को मिलते हैं और पुलिस एक बार फिर दावा करती है कि केस काफी हद तक साल्व हो गया,लेकिन कुछ ही घंटों के बाद आफताब की थ्योरी बदल जाती है, जिससे पुलिस उलझन में है। एक्सपर्ट के मुताबिक वह केवल समय खराब कर रहा है,क्योंकि अगर उसके मुताबिक वे हड्डियां श्रद्धा की हैं तो फिर उसने इस तरह से शव को टुकड़ों को काट-काट क्यों फेंका और उन्हें बड़ी आसानी से बता दिया।
स्कल और मोबाइल अहम सुराग,लेकिन बरामद नहीं,प्लान का हिस्सा
आफताब ने पुलिस को बड़ी ही आसानी से हड्डियों के टूुकड़ों के बारे में जानकारी दी,लेकिन स्कल कहां है और जब श्रद्धा की हत्या की तो मोबाइल का क्या किया, इस पर वह लगातार चुप है, हालांकि जहां एक बार उसने बयानों में कहा कि उसने मोबाइल और कपड़े एक एमसीडी के डस्टबिन में फेंक दिए थे तो स्कल कहां फेंका। उसने अपने बयानों में इस थ्योरी को कहा कि स्कल को कुछ दिन तक उसने घर में ही रखा था लेकिन फिर कहां फेंका इस पर वह चुप है।
बाल भी होते हैं केस में अहम,जो है गायब
जब आफताब ने बॉडी काटी तो बालों को जला दिया या फिर उन्हें अच्छे से साफ कर फेंका, इस पर उसकी चुप्पी है, क्योंकि पहले दिन के बयानों में उसने कहा कि उसने हत्या के बाद एसिड को डाल कर उसके मुंह और हाथों को बुरी तरह से जला दिया, लेकिन बाद में बयान पलटते हुए कहा कि स्कल और चेहरा ठीक था, जिसे वह देखता था।
6 माह बाद केस का खुलना उसके प्लान का हिस्सा
अमूमन सीसीटीवी कैमरों के बैकअप 90 दिनों तक के होते हैं,किसी कारणवश या फिर संवेदनशील जगहों पर बैकअप का सालों का डाटा स्टोर किया जाता है नहीं तो 90 दिनों के बाद सीसीटीवी का डाटा अपने आप डिलीट होना शुरु हो जाता है। आफताब ने भी अपने केस में इसी बात का इंतजार तो नहीं किया। वह सड़कों से गुजरा जंगल गया,आफिस गया,उसके घर में महिला दोस्त आई, साथ ही रुटीन में कई लोग जैसे खाना देने वाले,कपड़े वाले समेत कई लोग, लेकिन वह जानता है कि जब बैकअप नहीं होगा तो केस कहा टिकेगा।
अगर ये हुआ तो फांसी के फंदे पर होगा आफताब:
मिले हड्डियों के डीएनए पिता या भाई से मैच हो जाएं
21 मई को श्रद्धा इंस्टाग्राम हैंडल की आईपी एड्रेस उसके गुरुग्राम के ऑफिस कम्यूटर या उसके लैपटॉप से मैच हो
घर में मिले खून के धब्बे श्रद्धा के साबित हो तो
किसी भी सीसीटीवी में उसकी तस्वीर मिले
किए गए कबूलनामे पर वह टिका रहे और पछतावा करते हुए कोर्ट में इकबालिया बयान पर रहे अंत तक कायम
मुम्बई पुलिस के सामने क्यों नहीं टूटा था आफताब: जांच में ये बात भी सामने आई है कि मुम्बई में रहने के दौरान श्रद्धा के पिता की शिकायत पर मुम्बई पुलिस ने आफताब को दिल्ली से पूछताछ के लिए बुलाया था और उस समय में उससे काफी सख्ती की गई थी,लेकिन वह नहीं टूटा था और उसने केवल उसके जाने के बात को ही स्वीकारा था,लेकिन दिल्ली पुलिस के सामने वह चंद मिनटों में ही टूट गया। आफताब पूनावाला को दिल्ली पुलिस ने इसी साल मई में गिरफ्तार किया है। पाटिल ने बताया कि पूनावाला को पहली बार अक्तूबर में पूछताछ के लिए बुलाया और दूसरी बार 3 नवंबर को। पुलिस ने उस समय काफी सख्ती भी की, लेकिन आफताब ने श्रद्धा के जाने के ही बात को कहा। इसके बाद पिछले महीने मुंबई पुलिस दिल्ली के महरौली पुलिस थाने गए थे और पूनावाला से पूछताछ की थी। इस दौरान भी उसने श्रद्धा वाकर को लेकर कुछ भी नहीं बताया था।