Shani Pradosh Vrat 2025: कब मनाया जाएगा साल का पहला प्रदोष व्रत, जानें शुभ मुहूर्त और महत्व

Update: 2024-12-30 05:03 GMT
Shani Pradosh Vrat 2025: सनातन धर्म में प्रदोष व्रत को बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। मान्यता है कि इस दिन भोलेनाथ की सच्चे मन से पूजा करने और व्रत रखने से व्यक्ति के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही विवाह में आ रही रुकावटें भी दूर होती हैं। हिंदू पंचांग के अनुसार यह व्रत हर माह शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है।
हिंदू वैदिक पंचांग के अनुसार इस बार साल का पहला प्रदोष व्रत यानी पौष मास में शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि 11 जनवरी 2025 को सुबह 8:21 बजे शुरू होगा और तिथि 12 जनवरी को सुबह 6:33 बजे समाप्त होगी। इस बार प्रदोष व्रत शनिवार को पड़ेगा, इसलिए इसे शनि प्रदोष व्रत कहा जाएगा।
प्रदोष व्रत पूजा का शुभ मुहूर्त
प्रदोष व्रत के दिन पूजा करने के लिए प्रदोष काल का समय सबसे उत्तम माना जाता है. ऐसे में वैदिक पंचांग के अनुसार, इस दिन प्रदोष काल की शुरुआत 5 बजकर 43 मिनट से लेकर 8 बजकर 24 मिनट तक रहेगा. इस दौरान भक्तों को पूजा करने के लिए कुल 2 घंटे 43 मिनट का समय मिलेगा.
शनि प्रदोष व्रत का महत्व
हिंदू धर्म में शनि प्रदोष व्रत का विशेष महत्व होता है. इस दिन भगवान शिव के साथ शनि देव की पूजा जरूर करनी चाहिए. मान्यता है कि इससे शनि के बुरे प्रभाव से बचाव होता है. इस व्रत को करने से भक्तों को सुख-समृद्धि की प्राप्ति होती है और जीवन में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं. इसके अलावा सच्चे मन से इस व्रत का पालन करने वाले व्यक्ति को जीवन के सभी पापों से भी छुटकारा मिलता है.
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