Lucknow: सख्त रोक के बाद भी नाग पंचमी पर होगा सांपों का प्रदर्शन

Update: 2024-08-09 06:37 GMT
Lucknow लखनऊ : वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत सांपों के पकड़ने व प्रदर्शन पर रोक पर जहां मध्य प्रदेश में सख्ती से दिख रही है, वहीं प्रदेश में जिम्मेदार अधिकारी हाथ पैर हाथ धरे बैठे हैं। विभाग के उच्च अधिकारियों का स्पष्ट कहना है कि जिले के अधिकारी कानून को अपने स्तर से लागू करें, उन्हें अलग से किसी निर्देश की जरूरत नहीं है। वन विभाग की उदासीनता सांपों पर भारी पड़ रही है।
नाग पंचमी और अन्य त्योहारों
के दौरान सपेरे अक्सर लोगों की आस्था और विश्वास का फायदा उठाने के लिए सांपों को पकड़कर उनका प्रदर्शन व खेल दिखाते हैं। सपेरे इन सांपों के विष दंत तोड़ देते हैं जिससे अगर वह काटें तो वे उसके जहर से बच सकें। ऐसा करने से सांप घायल तो होते ही हैं, कई बार उनकी मौत तक हो जाती है।
मध्य प्रदेश में इनके पकड़ने से लेकर तमाशा दिखाने पर कड़ी कार्रवाई की जा रही है। उड़नदस्तों की टीम बनाकर ऐसा करने वालों पर छापा मारकर कार्रवाई की जा रही है, लेकिन उत्तर प्रदेश में इस तरह का कोई ऐसा काम नहीं किया जा रहा है। ऐसे में नाग पंचमी पर सपेरे लोगों की आस्था व विश्वास का सहारा लेते हुए इनका प्रदर्शन करते हैं। इनको कोई रोकता-टोकता नहीं है।
पकड़े जाने पर होगी कड़ी कार्रवाई-डीएफओ
नाग पंचमी पर सांपों के खेल दिखाने के दौरान पकड़े जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। लखनऊ के डीएफओ संताशु पांडेय ने कहा कि सांप को पकड़ना और इनका प्रदर्शन करना भारतीय वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत अपराध है। इनका पालन नहीं करने वाले लोगों के ऊपर जुर्माना लगाने के साथ ही छह माह तक की कैद का प्रावधान है। यूपी में सांपों के एक्सपर्ट आदित्य तिवारी ने बताया कि वन्य जीव अधिनियम देश में लागू होने के बाद भी उत्तर प्रदेश में आस्था और विश्वास के नाम पर सांपों का प्रदर्शन और खेल बदस्तूर जारी है। वन विभाग की ओर से इन्हें रोकने के लिए कोई कारगर कार्रवाई नहीं की जा रही है।
सांप के साथ न करें ये काम
1-सांपो को दूध पिलाना गलत होता है। सांप रेपटाइल जीव होता है। जबकि दूध स्तनधारी जीवों के लिए होता है। सांप दूध नहीं पचा पाता। इसकी वजह से उसकी मौत हो जाती है।
2-सांप कभी भी जोड़े में नहीं होते, वे सिर्फ प्रजनन के समय ही सामने आते हैं।
3-सांप की याददाश्त नहीं होती, जिससे वह किसी से बदला ले सके।
4-दोमुहां सांप का सिर्फ एक ही मुंह होता है,जबकि लोगों मे इसे दोमुहां वाला सांप बताकर भ्रम फैलाया गया। 5-घोड़ा पछाड़ और बिचखोपड़ा सांप में किसी प्रकार का जहर नहीं होता है। लेकिन इन सांपों के बारे मे भ्रम फैलाकर इनकी जान को मुसीबत में डाला गया है।
सावन में होता है इनका प्रजनन
सावन के समय में ही सांपों का प्रजनन और अंडों से उनके बच्चों का निकलना शुरू होता है। क्योंकि बरसात के बाद मेढक और कीड़े मकोड़े बाहर आते हैं है। ये सांप उन्हीं को खाकर जीवन चक्र को आगे बढ़ाते हैं।
सभी जिलों के अधिकारी सांपों के प्रदर्शन पर रोक के लिए वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत कार्रवाई करें। अलग से किसी निर्देश की जरूरत नहीं है।
-संजय श्रीवास्तव, वन्यजीव, प्रधान मुख्य वन संरक्षक
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