Jaipur: गर्मियों में निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए लोड का होगा बेहतर प्रबंधन
Jaipur जयपुर । जयपुर विद्युत वितरण निगम ने गर्मी में निर्बाध विद्युत आपूर्ति एवं बेहतर लोड मैनेजमेंट की अभी से तैयारियां शुरू कर दी हैं। इसके लिए फील्ड में पदस्थापित अधिशासी अभियंता (ओ एंड एम) फरवरी माह में सभी संबंधित 33 केवी सब स्टेशनों का दौरा करेंगे। चेयरमैन डिस्कॉम्स सुश्री आरती डोगरा ने शुक्रवार को विद्युत भवन के कांफ्रेंस हॉल में बैठक के दौरान यह निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इससे गर्मियों में बिजली की घरेलू मांग में होने वाली बढ़ोतरी के अनुरूप आवश्यक इंतजाम सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी।
सुश्री डोगरा ने कहा कि अभियंता जीएसएस तथा इनसे संबद्ध फीडरों में रोस्टर स्विच, वीसी ब्रेकर, आइसोलेटर, ट्रांसफॉर्मर, ऑयल जैसे आवश्यक तकनीकी मैटेरियल की उपलब्धता की सघन जांच करें। इनकी संभावित आवश्यकता का आकलन कर शीघ्र मुख्यालय को भिजवाएं। उन्होंने मुख्य अभियंता (एम.एम.) को निर्देश दिए कि वे सर्किलों में सभी तकनीकी लाइन मैटेरियल की मांग के अनुरूप पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करें।
चेयरमैन डिस्कॉम्स ने निर्देश दिए कि प्रथम चरण के निरीक्षण के बाद मार्च माह में द्वितीय चरण में अन्य जोन से टीमें गठित कर एक बार पुनः जीएसएस का गहन निरीक्षण किया जाएगा। इन सबके पीछे मंशा यह है कि गर्मियों में लोड का बेहतर प्रबंधन हो और उपभोक्ताओं को गुणवत्तायुक्त बिजली मिले।
सुश्री डोगरा ने इस दौरान अधिशासी अभियंताओं से उनके क्षेत्र के औद्योगिक फीडरों में शत-प्रतिशत बिलिंग, डिवीजन वार राजस्व रिकवरी के लक्ष्यों की प्राप्ति, कनेक्शन एवं विद्युत भार बढ़ाने के आवेदनों के शीघ्र निराकरण आदि की भी समीक्षा की। इस अवसर पर तकनीकी निदेशक श्री एस एस नेहरा, मुख्य लेखा नियंत्रक श्री एके जोशी एवं वाईएस राठौड़ सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
यह करेंगे जांच—
जीएसएस की मेंटिनेंस, फीडरों पर सप्लाई के अनुरूप लोड की स्थिति, पावर ट्रांसफॉर्मर, लघु ट्रांसफार्मर, ब्रेकर, आइसोलेटर सहित अन्य तकनीकी उपकरणों की उपलब्धता, जीएसएस के प्लेटफॉर्म, ग्रेवलिंग, ट्रांसफॉर्मरों से ऑयल लीकेज आदि की समस्या दूर करने, आदि।
आरडीएसएस कार्यों में प्रगति के लिए टीमों की संख्या बढ़ाएं—
चेयरमैन डिस्कॉम्स ने एक अन्य बैठक में जयपुर विद्युत वितरण निगम के सभी सर्किलों में करीब 2700 करोड़ की लागत से चल रहे आरडीएसएस योजना के कार्यों की प्रगति की समीक्षा की। उन्होंने निर्देश दिए कि कांट्रेक्टर फर्मों द्वारा फील्ड में टीमों की संख्या में इजाफा कर प्रगति बढ़ाई जाए और समयानुसार लक्ष्यों को हासिल किया जाए। अधिक छीजत वाले फीडरों में केबलिंग तथा एचवीडीएस के कार्य किए जाएं। जिन स्थानों पर 33 केवी जीएसएस का सिस्टम तैयार हो गया है, उनमें निर्धारित क्षमता के ट्रांसफार्मर लगाकर उसे शीघ्र चार्ज करें, इससे गर्मी में लोड मैनेजमेंट में मदद मिलेगी। उन्होंने फीडर पृथक्कीकरण के कार्यों को भी गति देने के निर्देश दिए।
बैठक में तकनीकी निदेशक श्री एसएस नेहरा, मुख्य लेखा नियंत्रक श्री एके जोशी, अति. मुख्य अभियंता (पीपीएम) श्री आरके शर्मा सहित सभी सर्किल के अधिशासी अभियंता एवं सहायक अभियंता (आरडीएसएस) मौजूद रहे। सर्किल अधीक्षण अभियंता वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से जुड़े।