आईजीएमसी में लगी है हिमाचल की पहली मशीन, सबसे बड़े अस्पताल में रुक गए किडनी स्टोन के ऑप्रेशन

आईजीएमसी में लगी है हिमाचल की पहली मशीन

Update: 2022-07-09 14:07 GMT
आईजीएमसी में रोगियों की सुविधा के लिए लगाई गई करीब सवा 2 करोड़ की लिथियो थैरेपी मशीन खराब हो गई है, जिसके चलते मरीजों को अब पीजीआई चंडीगढ़ का रूख करना पड़ रहा है। आईजीएमसी में किडनी स्टोन के ऑप्रेशन के लिए यह मशीन लगाई गई है। मशीन से बिना चीर फाड़ के किडनी स्टोन का इलाज किया जाता है। मशीन के खराब होने पर आईजीएमसी प्रशासन पर सवाल उठने शुरू हो गए हैं कि इतनी महंगी मशीन खराब कैसे हो गई है। सूत्रों के मुताबिक मशीन में सोक जैनरेटर पार्ट खराब हो गया है। इस पार्ट से लेजर बीम से ऑप्रेशन किया जाता है। इस पार्ट से करीब 200 से 250 तक ऑप्रेशन करने की गारंटी होती है। इस पार्ट की कुल कीमत करीब 5 लाख रुपए आंकी जा रही है। हालांकि अब आईजीएमसी प्रशासन ने कंपनी को इस पार्ट को ठीक करवाने के लिए कहा है
आईजीएमसी में लगी है हिमाचल की पहली मशीन
आईजीएमसी में प्रदेशभर से सैंकड़ों मरीज इलाज करवाने आते हैं लेकिन उन्हें अस्पताल में सुविधा से वंचित रहना पड़ रहा है। हिमाचल में यह पहली मशीन आईजीएमसी में ही लगाई गई। यहां पर प्रदेश के कौने-कौने से मरीज यहां पर अपना उपचार करवाने आते हैं ज्यादातर मरीज यही सोचते है कि बिना चिर फाड़ के ऑप्रेशन करवाना है लेकिन इन दिनों मशीन के खराब होने के चलते मरीजों को काफी ज्यादा परेशानी हो रही है। रोजाना मरीज अस्पताल के चक्क र काटते हैं। बिना ऑप्रेशन करवाएं वापिस घर की ओर जाना पड़ता है।

सोर्स: पंजाब केसरी 

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