हरियाणा CM ने प्रदेश में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने पर बल दिया, किसानों को होगा दोगुना फायदा

किसानों को होगा दोगुना फायदा

Update: 2022-05-21 05:01 GMT
चंडीगढ़: प्रदेश में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने का राज्य सरकार का फैसला न केवल किसानों की आय को (Promoting Natural Farming In Haryana) बढ़ाएगा, बल्कि देश व राज्य के लोगों के स्वास्थ्य में भी सुधार लाएगा और साथ ही भूमि की उर्वरक शक्ति भी बढ़ाएगा. यह बात हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल (CM Manohar Lal Khattar) ने चंडीगढ़ में प्राकृतिक खेती कार्यक्रम के कार्यान्वयन की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की करते हुए कही. मुख्यमंत्री ने मृदा स्वास्थ्य जांच पर विशेष जोर देते हुए सत्यापित प्रयोगशालाओं के माध्यम से प्राकृतिक खेती के प्रमाणीकरण पर बल (Manohar Lal Promoting Natural Farming) दिया.
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को ऐसी प्रयोगशालाओं को बढ़ाने की संभावनाएं तलाशने के निर्देश दिए, जो तर्कसंगत शुल्क पर इस तरह की मिट्टी की जांच करेंगी. उन्होंने कहा कि प्राकृतिक खेती की प्रामाणिकता बरकरार रहनी चाहिए और राज्य के नागरिकों को वास्तविक प्राकृतिक उत्पाद मिलनी चाहिए. बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जेपी दलाल भी उपस्थित (Manohar Lal on Natural Farming) थे. गुजरात के राज्यपाल ने विभिन्न राज्यों में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने की पहल शुरू की है. इस पहल को आगे बढ़ाते हुए हरियाणा सरकार ने हाल ही में हरियाणा विधानसभा में पेश किये गए बजट सत्र में भी इसके लिए बजट का विशेष प्रावधान किया है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक समर्पित पोर्टल शुरू किया गया है, जिस पर केवल प्राकृतिक किसान पंजीकृत होंगे. उन्होंने कहा कि 50 ब्लॉक के तहत जो किसान अपना उत्पाद खुद बनाएंगे, उन्हें 35,000 रुपये प्रोत्साहन राशि दी जाएगी, बशर्ते पूर्व-आवश्यक शर्तों को पूरा किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा प्राकृतिक खेती की प्रामाणिकता की निगरानी पर जोर दिया जाए ताकि वास्तविक उत्पाद बाजार में आ सकें. उन्होंने विभाग के अधिकारियों को प्रत्येक जिले में 25-25 युवा किसानों को तैनात करने के निर्देश दिए, जिन्हें प्राकृतिक खेती में प्रामाणिक प्रशिक्षण दिया गया है ताकि वे अन्य किसानों को संबंधित जिले में प्राकृतिक खेती अपनाने के लिए प्रेरित कर सकें.
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