ब्रेन ट्यूमर होने पर शरीर में दिखते हैं ये लक्षण, आप ऐसे पहचाने

हर साल 8 जून को विश्व ब्रेन ट्यूमर दिवस मनाया जाता है ताकि लोगों को इस घातक बीमारी के बारे में बताया जा सके। ब्रेन ट्यूमर एक ऐसा रोग है, जिसका समय से इलाज न किया जाए, जो जानलेवा साबित हो सकता है।

Update: 2022-06-08 04:30 GMT

 हर साल 8 जून को विश्व ब्रेन ट्यूमर दिवस मनाया जाता है ताकि लोगों को इस घातक बीमारी के बारे में बताया जा सके। ब्रेन ट्यूमर एक ऐसा रोग है, जिसका समय से इलाज न किया जाए, जो जानलेवा साबित हो सकता है। ब्रेन ट्यूमर के शुरुआती संकेतों के बारे में जानना ज़रूरी है। ब्रेन ट्यूमर की शुरुआत से ही व्यक्ति में कुछ लक्षण नज़र आने लगते हैं।

हालांकि, आमतौर पर लोग इन शुरुआती लक्षणों को अनदेखा कर देते हैं। कई मरीज़ ऐसे भी होते हैं, जिनमें ब्रेन ट्यूमर के शुरुआती लक्षण नज़र नहीं आते। वहीं, कई मामलों में ये लक्षण किसी अन्य बीमारी की वजह से भी हो सकते हैं। इसलिए ब्रेन ट्यूमर के बारे में जानना और इसके लक्षणों के बारे में पता होना बेहद ज़रूरी है।

किन लोगों को होता है ब्रेन ट्यूमर का ज़्यादा ख़तरा?

उजाला सिग्नस ग्रुप ऑफ हॉस्पिटल्स के संस्थापक और निदेशक, डॉ. शुचिन बजाज का कहना है कि "ब्रेन ट्यूमर किसी भी उम्र में हो सकता है। ब्रेन ट्यूमर का सही कारण साफ नहीं है। ब्रेन ट्यूमर के लक्षण उसके आकार, प्रकार और स्थान पर निर्भर करते हैं। वयस्कों में सबसे आम तरह के ब्रेन ट्यूमर हैं- एस्ट्रोसाइटोमा (astrocytoma), मेनिंगियोमा (meningioma) और ऑलिगोडेंड्रोग्लियोमा (oligodendroglioma) हैं।

परिवार में इतिहास और ज़्यादा एक्स-रे ब्रेन ट्यूमर का कारण बनते हैं। ब्रेन ट्यूमर का डायनॉसिस एक चिकित्सक द्वारा सेहत के इतिहास, शारीरिक परीक्षण और मस्तिष्क व तंत्रिका तंत्र के परीक्षण के परिणामों के आधार पर किया जाता है। ब्रेन ट्यूमर के इलाज में सर्जरी, रेडिएशन और कीमोथेरेपी शामिल है।

गुड़गांव के कोलंबिया एशिया अस्पताल में न्यूरोसर्जरी के वरिष्ठ सलाहकार, डॉ. राहुल जैन ने बताया, "ब्रेन ट्यूमर के लक्षण इस बात पर निर्भर करते हैं कि वे किस जगह और किस आकार का है। दौरे पड़ना, सिरदर्द, उल्टी, धुंधला दिखना, याददाश्त कमज़ोर होना, मस्तिष्क के एक हिस्से में कमज़ोरी, व्यवहार में बदलाव या चक्कर आना कुछ सामान्य लक्षण हैं। ऐसे लक्षण दिखने पर बिना समय गवाएं फौरन डॉक्टर से मिलना चाहिए। इमेजिंग, एमआरआई या सीटी स्कैन जैसे टेस्ट से समय पर कराने चाहिए।

ब्रेन ट्यूमर का उपचार आमतौर पर सर्जरी से शुरू होता है, जिसका उद्देश्य ज़्यादा से ज़्यादा ट्यूमर को निकाल देना होता है। उपचार के अगले चरण में, एक मरीज़ कीमोथेरेपी और रेडियोथेरेपी से गुज़रता है, जिसका उद्देश्य ट्यूमर कोशिकाओं को नष्ट करना है, जो सर्जरी के बाद छूट गई होती हैं। हालांकि, ब्रेन ट्यूमर से संबंधित कोई निश्चित निवारक तरीके नहीं हैं।


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