नीलगिरी तेल के सेवन से ठीक होगा पेट संबंधी विकार

नीलगिरी तेल का सेवन करने से पेट संबंधी समस्याओं से छुटकारा मिलता है

Update: 2023-02-15 13:06 GMT
नीलगिरी तेल के फायदे –
नीलगिरी के तेल का उपयोग करने से गठिया जैसी बीमारी के लक्षणों को कम करने में आसानी होती है। नीलगिरी के तेल में एनाल्जेसिक (Analgesic – दर्द निवारक) एवं एंटीइंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं जिसकी मदद से शरीर में दर्द एवं सूजन की समस्या से राहत मिलती है। गठिया के रोगियों को नीलगिरी के तेल का इस्तेमाल करने से बहुत फायदा मिलता है।
नीलगिरी के तेल के इस्तेमाल से मस्तिष्क का स्वास्थ्य बेहतर रहता है। रोजाना नियमित रूप से नीलगिरी के तेल का सेवन करने से तनाव एवं मानसिक विकारों की समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है। दरअसल, नीलगिरी का तेल मस्तिष्क में रक्त के प्रवाह में वृद्धि कर मानसिक क्षमता को बढ़ावा देने का कार्य करता है जिससे मस्तिष्क के स्वास्थ्य को बनाये रखने में बहुत मदद मिलती है।
नीलगिरी तेल के उपयोग से मसूड़े एवं दांत संबंधी समस्याओं से राहत मिलती है। नीलगिरी के तेल में जीवाणुरोधी गुण पाए जाते हैं जिसकी मदद से दांतो में गंदगी, मसूड़ों में सूजन, दांतों में छेद एवं दांतों में संक्रमण की समस्या से बचाव करने में बहुत मदद मिलती है। नीलगिरी के तेल को आमतौर पर टूथपेस्ट में एवं माउथवॉश के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है।
नीलगिरी तेल का सेवन करने से पेट संबंधी समस्याओं से छुटकारा मिलता है
। नीलगिरी का तेल पेट के कीड़ों को नष्ट करने का कार्य करता है जिससे पेट को साफ रखने में बहुत मदद मिलती है। नीलगिरी के तेल में एंटी-माइक्रोबियल एवं एंटीबैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं जिसकी मदद से शरीर को हानिकारक बैक्टीरिया के खतरों से बचाया जा सकता है।
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नीलगिरी तेल का नियमित रूप से इस्तेमाल करने से मधुमेह जैसी बीमारी के लक्षण को कम करने में आसानी होती है। नीलगिरी का तेल रक्त शर्करा को नियंत्रित करने में मदद करता है जिससे मधुमेह का खतरा कम होता है। इसके अलावा, नीलगिरी का तेल रक्त परिसंचरण में भी वृद्धि करता है जिससे रक्त वाहिकाओं में कसाव को कम करने में आसानी होती है।
नीलगिरी के तेल का इस्तेमाल करने से किडनी में पथरी की समस्या से राहत मिलती है दरअसल, किडनी में पथरी की समस्या से जूझ रहे लोगों के शरीर में दर्द एवं कमजोरी की समस्या उत्पन्न हो जाती है जिसके कारण उनकी दैनिक दिनचर्या बुरी तरह प्रभावित हो जाती है। नीलगिरी के तेल से दिन में दो-तीन बार शरीर पर मालिश करने से कमजोरी एवं दर्द की समस्या से राहत मिलती है।
नीलगिरी के तेल का उपयोग करने से निमोनिया जैसी बीमारी की समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है। नीलगिरी के तेल में एंटीसेप्टिक एवं जीवाणुरोधी गुण पाए जाते हैं जिसकी मदद से फेफड़ों को साफ करने एवं सूजन को कम करने में बहुत मदद मिलती है। नीलगिरी के तेल से छाती व पीठ पर मालिश करने से क्षय रोग (tuberculosis) के प्रभावों को कम किया जा सकता है।
नीलगिरी के तेल का इस्तेमाल करने से बुखार जैसे समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है। नीलगिरी के तेल के उपयोग से शरीर के तापमान को नियंत्रित करने में बहुत मिलती है जिसके कारण बुखार की समस्या से राहत मिलती है। इसके अलावा, नीलगिरी के तेल को पिपरमेंट ऑयल के साथ मिलाकर शरीर पर मालिश करने से शरीर की दुर्गंध को भी दूर किया जा सकता है।
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