Pregnancy में बच्चे की सलामती के लिए भूलकर भी न खाये ये चीज

Update: 2024-07-22 08:23 GMT
Pregnancy Care: प्रेग्‍नेंसी का दौर बेहद नाजुक, लेकिन आनंददायक होता है। इसलिए हर होने वाली मां को प्रेग्‍नेंसी के नौ महीनों को एन्जॉय करना चाहिए। हालांकि, इन दिनों कुछ ऐसी चीजें होती हैं, जो अगर किसी को पता चला ,तो वह हंसे बिना नहीं रह सकेगा। जैसे कि इन दिनों में चॉक, मिट्टी, क्‍ले, पेंट और चारकोल जैसे गैर पोषक पदार्थ खाने का बहुत मन करता है। इस कंडीशन को पाइका कहते हैं। इस तरह की लालसा मां और बच्‍चे दोनों के स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकती है। तो आइए जानते हैं कि पाइका से कैसे बचा जा सकता है और क्यों जरूरी है?
प्रेग्नेंसी में मिट्टी खाने की इच्छा क्यों?
गायनाकोलॉजिस्ट ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो के जरिए बताया है कि शरीर में जिंक, आयरन, कैल्शियम जैसे पोषक तत्वों की कमी होने से गर्भवती में चॉक, बेबी पाउडर, ग्लू,राख, मिट्टी या साबुन खाने की क्रेविंग बढ़ जाती है। इसलिए गर्भवती महिलाओं की Diet में आयरन और मिनरल्स रिच फूड को शामिल करना चाहिए। भ्रूण के स्वास्थ्य और स्वस्थ गर्भावस्था के लिए यह जरूरी होता है।
प्रेग्‍नेंसी के दौरान पाइका का रिस्क
नॉन फूड आइटम का सेवन मां और बच्‍चे के लिए रिस्की होता है। नुकसान की संभावना कितनी है यह निर्भर करता है कि आप क्या खा रही हैं। पाइका से ब्लॉकेज, प्रीटर्म लेबर, लेड पॉइजनिंग के अलावा शरीर में पोषक तत्वों की कमी का खतरा बढ़ जाता है। यह गर्भवतियों में खून की कमी का कारण भी बनता है।
पाइका मां और बच्‍चे के लिए सेफ है?
पाइका तब बेहद नुकसान पहुंचाता है, जब गर्भवती को इसकी क्रेविंग होने लगे। यह मां और बच्‍चे दोनों के लिए नुकसानदायक है। ज्यादा मात्रा में मिट्टी खाने से गर्भवती बीमार पड़ सकती है और इससे पेट भी भर जाता है, जिसके बाद कुछ भी पौष्टिक खाने की इच्छा नहीं होती। इसके कारण एनीमिया जैसी बीमारी भी हो सकती है।
क्‍या पाइका इलाज किया जा सकता है
यह पूरी तरह इलाज योग्य है। वैसे तो ज्यादातर महिलाओं में पाइका अपने आप ठीक हो जाता है। जबकि कुछ महिलाओं को इसे नियंत्रित करने के लिए विटामिन का सेवन करने की सलाह दी जाती है। आयरन रिच फूड जैसे काला चना, स्प्राउट्स, सी फूड का सेवन इसका प्रभावी हल है। Calcium Tablets भी मदद करती हैं।
पाइका का असली कारण क्या है?
पाइका गर्भवती महिलाओं में आम बात है। क्योंकि गर्भावस्था के दौरान शरीर की पोषण संबंधी जरूरतें बढ़ जाती हैं । अगर आप हेल्दी फूड नहीं खाते, तो पोषक तत्वों की कमी हो सकती है। किसी नॉन फूड आइटम्‍स के प्रति जरूरत से ज्यादा बढ़ने लगे, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
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