सही और गलत की पहचान बहुत जरूरी होती है क्योंकि एक सही चीज व्यक्ति को सुख की राह पर ले जा सकती है, तो वहीं एक गलत चीज उसे बहुत बड़े संकट में डाल सकती है. लेकिन सही और गलत की पहचान आमतौर पर हर व्यक्ति को नहीं होती, क्योंकि ये पहचान करने का ये हुनर अनुभव से मिलता है.
इस वजह से कई लोग जीवन में कई बार गलत लोगों पर भरोसा कर लेते हैं और अपने लिए समस्या खड़ी कर लेते हैं. आचार्य चाणक्य ने चाणक्य नीति में ऐसी पांच चीजों के बारे में बताया है जो भरोसे के लायक नहीं होतीं और आपको कभी भी धोखा दे सकती हैं. प्रकांड विद्वान आचार्य चाणक्य के हर वचन उनके अनुभवों का निचोड़ हैं. उनके कहे वचनों से आप बहुत कुछ सीखकर जीवन की बड़ी परेशानियों से बच सकते हैं.
नदीनां शस्त्रपाणीनां नखीनां श्रृंगीणां तथा
विश्वासो नैव कर्तव्यः स्त्रीषु राजकुलेषु च
1- इस श्लोक के जरिए आचार्य कहते हैं कि जिन नदियों के पुल कच्चे हैं, या जीर्ण-शीर्ण अवस्था में हैं, उन नदियों पर विश्वास कभी नहीं करना चाहिए. पता नहीं कब नदियों का बहाव तेज हो जाए और पुल को ढहा दे. ऐसे में व्यक्ति के प्राण संकट में पड़ सकते हैं.
2- जिन लोगों के पास कोई शस्त्र या औजार हो, उन पर कभी यकीन न करें. पता नहीं उन्हें आपकी कौन सी बात बुरी लग जाए और वे अपने शस्त्र का प्रयोग आप ही पर कर दें.
3- जिन जानवरों के नाखून और सींग नुकीले हों, उन पर यकीन न करें. हमें नहीं पता कि जानवर कब क्रोध में आ जाए या भड़क जाए और हमला कर दे.
4- जो स्त्रियां चंचल स्वभाव की होती हैं, उन पर भी भरोसा नहीं करना चाहिए. वो कब किसी अन्य की बातों में आ जाएं और आपको मुसीबत में डाल दें.
5- किसी राजकुल या शासकीय सेवा से जुड़े व्यक्ति पर भी कभी विश्वास न करें. वो आपके राज को जानकर कभी भी उसे आपके खिलाफ प्रयोग कर सकता है. ऐसे में आप बड़ी मुसीबत में फंस सकते हैं.