वर्किंग वुमन के लिए ब्रेस्टफीडिंग टिप्स, किन बातों का रखें ध्यान

Update: 2023-08-05 13:32 GMT
हर साल 1 से 7 अगस्त तक पूरी दुनिया में वर्ल्ड ब्रेस्टफीडिंग वीक के तौर पर मनाया जाता है. इसका मकसद ब्रेस्टफीडिंग की अहमियत और लोगों को इसके बारे में जागरुक करना है. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मुताबिक, जन्म से लेकर 6 महीने तक नवजात बच्चे को सिर्फ मां का दूध ही पिलाएं.
ब्रेस्ट फीडिंग से बेहतर शिशुओं के लिए कोई आहार नहीं है. इससे न सिर्फ बच्चे को फायदा मिलता है बल्कि मां को भी ब्रेस्टफीडिंग करवाने के कई सारे फायदे मिलते हैं. स्तनपान करवाने से मां ब्रेस्ट कैंसर के खिलाफ लड़ने में मदद मिलती है. इसके अलावा, बच्चे के विकास और संक्रमण से लड़ने से मदद मिलती है. लेकिन वर्किंग वुमन के लिए बच्चे को ब्रेस्टफीड करवाना थोड़ी चुनौती हो सकती है. आज हम इसी के बारे में बताने वाले हैं.
वर्किंग महिलाओं की चुनौतियां
ज्यादा माताएं काम करने के दौरान बच्चे को ब्रेस्ट फीडिंग करवाना बंद कर देती हैं. ऐसा इसलिए होता है कि वे काम करने और ब्रेस्टफीडिंग के तरीकों से अनजान होती हैं. इसके अलावा, बिजी लाइफस्टाइल और थकान के कारण भी ऐसा हो सकता है. यहां हम वर्किंग महिलाओं को ब्रेस्टफीडिंग के आसान टिप्स बताने जा रहे हैं.
कैसे करें आसान
वर्किंग महिलाएं काम के लिए फ्लेक्सिबल टाइमिंग या वर्क फ्रॉम होम को चुन सकती हैं.
आधे दिन से काम करना शुरू करें और धीरे-धीरे काम के समय को बढ़ाएं.
ऑफिस आने जाने के समय का ध्यान रखें
इन बातों का भी रखें ध्यान
वर्किंग वुमन इस बात का ध्यान रखें कि अपने बच्चे को कुछ हफ्तों के बाद परिवार के दूसरे सदस्यों से परिचित करवाएं क्योकि आपके काम का समय नजदीक आते-आते बच्चा दूसरे सदस्यों से घुल मिल जाएगा.
कपड़ों का रखें ख्याल
मां बनने के बाद कई सारी चीजों को ध्यान में रखा जाता है. ये ऐसा समय है जब महिलाओं को अपने वार्डरोब तक का मेकओवर करना पड़ता है. इसलिए वर्किंग वुमन को ऐसे कपड़े पहनने चाहिए, जिससे उन्हें ब्रेस्टफीड करवाने में कंफर्ट लगे. इसके अलावा, महिलाएं अपने खानपान का भी ध्यान रखें और कम से कम स्ट्रेस लें.
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