जैव विविधता पर ध्यान

कनाडा के मॉन्ट्रियल में आयोजित जैव-विविधता सम्मेलन (कॉप15) में भारत ने आशा व्यक्त की है

Update: 2022-12-19 10:39 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क | कनाडा के मॉन्ट्रियल में आयोजित जैव-विविधता सम्मेलन (कॉप15) में भारत ने आशा व्यक्त की है कि इस बैठक में आम सहमति से ठोस निर्णय लिया जायेगा. संयुक्त राष्ट्र के इस सम्मेलन में भारत का प्रतिनिधित्व करते हुए केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने कहा कि पारिस्थितिकी के नुकसान की भरपाई करना तथा वैश्विक स्तर पर हो रहे जैव विविधता के ह्रास को रोकना लोगों के सामाजिक-आर्थिक विकास और कल्याण के लिए आवश्यक है.

उन्होंने इस संबंध में भारत में हो रहे प्रयासों का उल्लेख भी किया. हमारा देश विभिन्न प्रकार के जीव-जंतुओं, कीट-पतंगों, पक्षियों और पेड़-पौधों से समृद्ध है. धरती के संतुलन को बनाये रखने में इनकी महत्वपूर्ण भूमिका होती है, लेकिन जलवायु परिवर्तन, मानवीय विकास, प्रदूषण तथा देख-रेख के अभाव जैसे कारकों ने जैव-विविधता को संकट में ला दिया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पर्यावरण संरक्षण, नदियों के उद्धार, नदी तटों की पारिस्थितिकी, वन्य जीव संरक्षण, स्वच्छ ऊर्जा का विस्तार आदि से संबंधित कार्यक्रमों एवं नीतियों के माध्यम से जैव-विविधता को बेहतर करने को सरकार की प्राथमिकताओं में सम्मिलित किया है.

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