देश के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस एन वी रमना ने कहा है कि संसद में बगैर गंभीर बहस के कानून बनाने की तेज होती प्रवृत्ति न केवल कानूनों की क्वॉलिटी को प्रभावित कर रही है