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Srirenukaji. श्रीरेणुकाजी। अंतरराष्ट्रीय श्रीरेणुकाजी मेले के तीसरे दिन बुधवार को सिरमौर जिला की पारंपरिक बुड़ाह लोक नृत्य प्रतियोगिता के द्वारा सिरमौरी संस्कृति की शानदार झलक देखने को मिली है। रेणु मंच पर जिला सिरमौर के विभिन्न लोक कलाकारों से सुसज्जित दलों ने बुड़ाह पारंपरिक लोक नृत्य के साथ-साथ वाद्य यंत्रों की धुन से लोगों को मंत्रमुग्ध किया और अपनी-अपनी कला का शानदार प्रदर्शन किया। बुड़ाह दल प्रतियोगिता में शिरगुल कला मंच घाटों, बुड़ाह लोक नृत्य दल सैंज, पारंपरिक लोक नृत्य हानत, गुग्गा पीर सांस्कृतिक कला मंच पखवान गणोग, गुग्गा महाराज बुढिय़ात सांस्कृतिक क्लब क्यारका, बुड़ाह दल ऊंचा टिक्कर, भद्रास दल गनोग, शिरगुल बुड़ाह लोक नृत्य दल अंधेरी के कलाकारों ने प्रतियोगिता में भाग लिया।
इस प्रतियोगिता में गिरिआर हाटी कला मंच पाब बुड़ाह प्रथम स्थान, शिरगुल बुड़ाह लोक नृत्य दल अंधेरी द्वितीय स्थान व लोक नृत्य दल सैंज तृतीय स्थान पर रहा। निर्णायक मंडल में लोक संस्कृति के ज्ञाता कंवर सिंह नेगी, जिला लोक संपर्क विभाग के मनोज शर्मा तथा जिला भाषा अधिकारी कांता नेगी थे। प्रतियोगिता में प्रथम, द्वितीय व तृतीय स्थान के विजेताओं को आकर्षक ट्रॉफी व क्रमश: 15 हजार, 13 हजार व 11 हजार रुपए की पुरस्कार राशि रेणुका विकास बोर्ड द्वारा प्रदान की जाएगी। रेणुका विकास बोर्ड के अध्यक्ष और उपायुक्त सिरमौर सुमित खिमटा और उनकी टीम द्वारा अंतरराष्ट्रीय श्रीरेणुकाजी मेले के अवसर पर सांस्कृतिक विरासत को संजोए इस प्रकार के लोक नृत्यों का मंचन करवाने का निर्णय अत्यंत प्रशंसनीय है। इसके मंचन से युवा पीढ़ी को अपने प्राचीन संस्कृति की झलक को करीबी से देखने को सौभाग्य मिलता है।
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