भारत

कश्मीरी ही अमरनाथ यात्रा के श्रद्धालुओं को कराते हैं वास्तवित सुरक्षा मुहैया : महबूबा मुफ्ती

Nilmani Pal
30 Jun 2022 12:50 AM GMT
कश्मीरी ही अमरनाथ यात्रा के श्रद्धालुओं को कराते हैं वास्तवित सुरक्षा मुहैया :  महबूबा मुफ्ती
x

कश्मीर। कोरोना संक्रमण की वजह से पिछले दो साल बाद अमरनाथ यात्रा आज से शुरू हो गई है. आज पहला जत्था बाबा बर्फानी के पहले दर्शन करेगा. भोलेनाथ के भक्तों में गजब का उत्साह देखने को मिल रहा है. पहले जत्थे को बुधवार की सुबह उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था. वहीं पीडीपी नेता महबूबा मुफ्ती ने कहा कि कड़े सुरक्षा उपायों के बावजूद कश्मीर के लोग ही अमरनाथ यात्रा के लिए तीर्थयात्रियों को असली सुरक्षा प्रदान करते हैं. पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने कहा कि COVID-19 महामारी के कारण अमरनाथ यात्रा दो साल बाद गुरुवार से शुरू हो रही है. उन्होंने कहा कि मुझे यकीन है कि कश्मीरी हमेशा की तरह यात्रियों का तहे दिल से स्वागत करेंगे. उन्होंने कहा कि यात्रा के दौरान दुकानों को बंद करने समेत सुरक्षा के कड़े उपाय किए जाते हैं. लेकिन मैं ये बात साफ कर देना चाहती हूं कि हम कश्मीरी ही अमरनाथ यात्रा के श्रद्धालुओं को वास्तवित सुरक्षा मुहैया कराते हैं.

पीडीपी नेता की टिप्पणी कश्मीर के पंथाचौक इलाके के दुकानदारों के विरोध प्रदर्शन के बाद आई है, जिसमें दावा किया गया है कि उन्हें अमरनाथ यात्रा की अवधि के लिए अपने व्यवसाय बंद करने का निर्देश दिया गया है. यह अवधि 11 अगस्त को समाप्त होगी. यात्रा पर आतंकी खतरे की आशंका के मद्देनजर अधिकारियों ने सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए हैं. सीआरपीएफ के बाइक स्क्वॉड कमांडो यात्रियों को सुरक्षा प्रदान कर रहे हैं. भारत-पाकिस्तान अंतरराष्ट्रीय सीमा और नियंत्रण रेखा पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है. यात्रा से पहले लश्कर ने धमकी दी है. हालांकि पुलिस ने बताया कि इस मामले में कुछ गिरफ्तारियां भी की गई हैं.

बाबा अमरनाथ धाम की यात्रा दो प्रमुख रास्तों से की जाती है. इसका पहला रास्ता पहलगाम से बनता है और दूसरा सोनमर्ग बालटाल से. श्रद्धालुओं को यह रास्ता पैदल ही पार करना पड़ता है. पहलगाम से अमरनाथ की दूरी लगभग 28 किलोमीटर है. ये रास्ता थोड़ा आसान और सुविधाजनक है. जबकि बालटाल से अमरनाथ की दूरी तकरीबन 14 किलोमीटर है.

Next Story