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Bilaspur. बिलासपुर। तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी ने प्रदेश सरकार के दो वर्ष के कार्यकाल के दौरान तकनीकी शिक्षा और कौशल विकास क्षेत्र में किए गए महत्त्वपूर्ण कार्यों और उपलब्धियों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि वर्तमान में तकनीकी शिक्षा विभाग के अंतर्गत कुल 363 संस्थान कार्यशील हैं, जिनमें पांच इंजीनियरिंग कॉलेज, पांच फार्मेसी कॉलेज, 17 पॉलिटेक्नीक, 152 औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान और 01 मोटर ड्राइविंग एवं हैवी अर्थ मूविंग मशीनरी ऑपरेटर स्कूल सरकारी क्षेत्र में, जबकि सात इंजीनियरिंग कॉलेज, 18 फार्मेसी कॉलेज, 8 पॉलिटेक्निक, 17 डी फार्मेसी कॉलेज और 133 औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान निजी क्षेत्र में कार्यरत हैं। राजकीय फार्मेसी कॉलेज सुलह और राजकीय पॉलिटेक्निक जन्दौर को क्रमश: 2023-24 और 2024-25 से शैक्षिक सत्र से आरंभ किया गया है।
इसके अतिरिक्त हाईड्रो इंजीनियरिंग कॉलेज बांदला में कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग, राजकीय पॉलीटेक्निक रोहडू में कंप्यूटर इंजीनियरिंग और आईओटी डिप्लोमा कोर्स और राजकीय पॉलिटेक्निक चंबा में मेकाट्रोनिक्स डिप्लोमा कोर्स भी इस सत्र से शुरू किए गए हैं। जवाहरलाल नेहरू राजकीय इंजीनियरिंग कॉलेज सुंदरनगर के चार कोर्स सिविल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स और कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग, टेक्सटाइल इंजीनियरिंग और मेकेनिकल इंजीनियरिंग को नेशनल बोर्ड ऑफ एक्रेडिटेशन से मान्यता प्राप्त हुई है। मंत्री राजेश धर्माणी ने बताया कि राज्य सरकार द्वारा एडीबी द्वारा वित्त पोषित हिमाचल प्रदेश कौशल विकास परियोजना के तहत 50 औद्योगिक संस्थानों, एक पॉलिटेक्रीक और एक इंजीनियरिंग कॉलेज की मशीनरी और उपकरणों का उन्नयन किया जा रहा है, जिससे लगभग 5880 छात्रों को लाभ होगा। ये योजनाएं न केवल रोजगार के अवसरों को बढ़ावा देंगी, बल्कि युवाओं को आधुनिक तकनीकी कौशल से भी लैस करेंगी।
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Shantanu Roy
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