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फाइल फोटो
नई दिल्ली. पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू (Navjot Singh Sidhu) के सलाहकारों मलविंदर सिंह माली और प्यारेलाल गर्ग की ओर से जम्मू-कश्मीर और पाकिस्तान (Pakistan) पर की गई टिप्पणियों ने अब दिल्ली में कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व को थोड़ी समस्या में डाल दिया है. दरअसल सिद्धू के दोनों सलाहकार अपने बयान पर कायम हैं और यह कह रहे हैं कि उनकी टिप्पणियां राष्ट्र-विरोधी नहीं थीं. अब उनके इस कृत्य ने गांधी परिवार के खिलाफ बीजेपी को हमले का आसान रास्ता उपलब्ध करा दिया है.
नवजोत सिंह सिद्धू को विरोध के बावजूद गांधी परिवार ने ही चुना और पंजाब कांग्रेस का प्रमुख नियुक्त किया. इसी दौरान कुछ मीडिया सलाहकारों को भी नियुक्त किया गया लेकिन इन सबने सिद्धू, कांग्रेस और गांधी परिवार को संकट में डाल दिया है. उत्तर प्रदेश के महत्वपूर्ण चुनावों से ठीक पहले जहां कांग्रेस अपनी उपस्थिति दर्ज कराने के लिए संघर्ष कर रही है वहीं अब यह विवाद उनके साथ हो चला है.
अब सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस आलाकमान नवजोत सिंह सिद्धू से नाराज है. इसके साथ ही वो सिद्धू के सलाहकारों को लेकर भी खफा है. क्योंकि इससे बीजेपी को यूपी में बढ़त मिल सकती है, साथ ही गांधी परिवार के लिए वह राष्ट्र विरोधी का टैग इस्तेमाल कर सकती है.
जैसी कि उम्मीद थी, बीजेपी ने गांधी परिवार पर इस मामले में खामोश रहने पर हमला बोला है. ऐसी ही चिंता पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह को भी सता रही है. क्योंकि उन्हें लग रहा है कि गांधी परिवार की इस मुद्दे पर खामोशी पंजाब में कांग्रेस के लिए नुकसानदायक हो सकती है.
बीजेपी ने अब सिद्धू और उनके दोनों सलाहकारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है. बीजेपी नेता संबित पात्रा ने कहा, 'चूंकि सिद्धू को गांधी परिवार ने चुना था, यह दर्शाता है कि सलाहकारों को उनका समर्थन है.' विपक्षी अकाली दल और बीजेपी देशद्रोह कानून के तहत इस मामले में कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.
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