अवैध खनन रोकने के लिए अरावली में कैमरे लगाने की कवायद शुरू
हिसार: अरावली में अवैध खनन रोकने के लिए लगाए जाने वाले सीसीटीवी कैमरों की जगह तलाशने का काम शुरू कर दिया है. खनन विभाग के अधिकारी इसके लिए पुलिस का रिकॉर्ड तलाश रहे हैं. ताकि जहां अवैध खनन की गतिविधियां ज्यादा हुई थी, उनको संवेदनशील इलाके में रखा जाएगा. जल्द ही इनकी तलाश करके कैमरे लगाने का काम शुरू कर दिया जाएगा.
सरकार ने सीसीटीवी कैमरे और ड्रोन के जरिये अरावली में अवैध खनन को रोकने की दिशा में कदम उठाने का फैसला किया है. नूंह, गुरुग्राम और फरीदाबाद के उपायुक्त यह व्यवस्था करेंगे. पिछले दिनों बैठक में मुख्य सचिव ने कहा था कि इस पहल का उद्देश्य अरावली पर्वतमाला की सुरक्षा के लिए राजस्थान से सटे सीमावर्ती क्षेत्रों में निरंतर निगरानी बनाए रखने पर विशेष ध्यान देने के साथ-साथ क्षेत्र के भीतर अवैध खनन से प्रभावी ढंग से निपटना भी है. इसके अलावा, उन्होंने तत्काल सीसीटीवी कैमरे लगाने और खरीद प्रक्रिया पूरी होने तक ड्रोन सेवाएं किराए पर लेकर उपयोग करने के भी निर्देश दिए.
मुख्य सचिव ने उपायुक्तों को कहा था कि वे अपने यहां अवैध खनन गतिविधियों की सतत निगरानी के लिए कंट्रोल रूम स्थापित करें. इसके अलावा, वे वन विभाग के साथ तालमेल कर भविष्य में ज्यादा से ज्यादा वृक्षारोपण के प्रयास करें और इसके साथ ही क्षेत्र में मौजूदा पौधरोपण के अस्तित्व बनाए रखना भी सुनिश्चित करें. उन्होंने उपायुक्तों को संबंधित विभागों के साथ नियमित बैठकें करने और स्टोन क्रशर स्थलों का व्यवस्थित निरीक्षण सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए थे. इसके अलावा, उन्होंने अधिकारियों को सभी जिलों, विशेष तौर पर अरावली क्षेत्रों में ई-रवाना प्रणाली को मजबूत करने पर विशेष बल दिया.