केंद्र सरकार ने कश्मीर को एक खुले जेल में बदल दिया : महबूबा मुफ्ती
जम्मू-कश्मीर के कट्टरपंथी अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी के शव को पाकिस्तानी झंडे में लपेटे जाने को पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती गलत नहीं मानती हैं और केस दर्ज होने को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा है। गिलानी की मौत के बाद उनके शव को पाकिस्तानी झंडे में लपेटा गया था और कथित तौर पर देश विरोधी नारे लगाए गए। गिलानी के शव को पाकिस्तानी झंडे से लपेटे जाने का वीडियो सामने आने के बाद बडगाम पुलिस ने यूएपीए और आईपीसी के तहत अज्ञात लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया है। हालांकि, जब पुलिस बॉडी को अपने कब्जे में लिया तो अलगाववादी नेता के करीबियों ने झंडे को हटा दिया। 91 वर्षीय गिलानी की मौत बुधवार रात हो गई।
एफआईआर की निंदा करते हुए महबूबा मुफ्ती ने ट्वीट किया, ''कश्मीर को एक खुले जेल में बदल दिया गया है, अब मरे हुए लोगों को भी नहीं छोड़ा जा रहा है। एक परिवार को गम मनाने और अनकी मर्जी के मुताबिक विदाई देना की भी इजाजत नहीं है। गिलानी साहब के परिवार पर यूएपीए के तहत केस दर्ज करना भारत सरकार की निर्ममता को दर्शाता है। यह नए भारत का नया कश्मीर है।''