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Pakur. पाकुड़। पाकुड़ जिला के गोपीनाथपुर में प्रतिबंधित मांस के मामले में आज भारतीय जनता पार्टी का एक प्रतिनिधि मंडल नेता प्रतिपक्ष की अगवाई में राज्यपाल से मिला। भाजपा नेताओं ने राज्यपाल के सामने ग्रामीणों की सुरक्षा का मामला उठाया है और सख्त कार्रवाई की मांग की। राज भवन पहुंचकर पाकुड़ जिला के गोपीनाथपुर गांव में हुए दो समुदायों के बीच झड़प मामले को लेकर एक ज्ञापन महामहिम राज्यपाल को सौंपा गया है। प्रतिनिधि मंडल में विधायक सारठ रणधीर सिंह, विधायक भवनाथपुर भानु प्रताप शाही, विधायक गोड्डा अमित कुमार मंडल, विधायक हटिया नवीन जायसवाल उपस्थित रहे।
राज्यपाल को ज्ञापन सौंपने के बाद मीडिया से बात करते हुए नेता प्रतिपक्ष ने कहा, 20 जून 2024 को जब भाजपा का एक प्रतिनिधिमंडल गोपीनाथपुर गांव का दौरा करने पहुंचा तो वहां की स्थिति देखकर कहा जा सकता है कि बांग्लादेशी घुसपैठियों ने पूरी साजिश के तहत गोपीनाथपुर गांव पर हमला कर हिंदुओं का पलायन करवाना चाहते हैं। उन्होंने बताया कि किस तरह से पश्चिम बंगाल से आए सैकड़ो की संख्या में बंगला देशी घुसपैठियों ने गांव पर हमला कर आगजनी, पत्थरबाजी, बमबाजी, छेड़खानी आदि जैसी घटनाओं को अंजाम दिया। गोपीनाथपुर के भोले भाले जनता को घायल कर समुदाय अपना दबदबा बनाने की कोशिश लगातार कर रहे हैं। यह आंतरिक सुरक्षा का मामला है। लेकिन सरकार के तरफ से किसी भी तरह का कोई बयान नही दिया जाता है।
अपने 6 सूत्री मांगों में प्रतिनिधिमंडल ने मांग किया कि
1- तत्काल गोपीनाथपुर गांव में एक स्थायी पुलिस पिकेट की स्थापना की जाये एवं केन्द्रीय पुलिस बल तैनात किया जाये।
2- गोपीनाथपुर की घटना की एक उच्चस्तरीय न्यायीक जांच करा कर दोषियों पर कठोर से कठोर कार्रवाई की जाये।
3- गोपीनाथपुर के ग्रामीणों को हुई क्षति की अविलंब क्षतिपूर्ती की जाये।
4- राज्य में इस तरह की घटना की पुर्नावृति न हो इसकी अपने स्तर से कार्रवाई सुनिश्चित करायी जाये।
5- गोपीनाथपुर के ग्रामीणों को अविलंब पक्का मकान, पेयजल सुविधा, बिजली एवं बच्चों के शिक्षण हेतु एक स्कूल की स्थापना करायी जाये।
6- पूरे राज्य में खुले आम प्रतिबंधित मांस की बिक्री करने वाले व्यक्तियों को चिन्हित कर अविलंब कार्रवाई सुनिश्चित करायी जाये।
17 जून को पाकुड़ जिला के गोपीनाथपुर गांव में प्रतिबंधित मांस काटने को लेकर दो समुदाय में झड़प हो गयी। जिसके बाद पश्चिम बंगाल के गांव से सैकड़ों की संख्या मुसलमानों ने गांव पर हमला कर दिया। अचानक हुए इस हमले में दर्जनों की संख्या में ग्रामीण घायल हो गए। ग्रामीणों का आरोप है कि पश्चिम बंगाल से पत्थरबाजी हुई। कई घरों को भी नुकसान पहुंचा है। इस घटना से ग्रामीण इतने डरे हुए हैं कि वह अपने घरों में भी नहीं रह रहे। हालांकि समय रहते स्थानीय पुलिस और जिला प्रशासन ने घटना स्थल पहुंच कर मामले को शांत करवाने की कोशिश की। बावजूद इसके ग्रामीणों को धमकी दी जा रही है।
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