कोटा। शांति एवं अहिंसा विभाग के तत्वावधान में कोटा में शुरू हुए दो दिवसीय राष्ट्र स्तरीय श्रमिक विकास शिविर में अनूठा दृश्य बन पड़ा जब देश के विभिन्न प्रांतों के गांधीवादी चिंतक विचारक एक छत के नीचे आ जुटे। स्व. पं. जवाहरलाल नेहरू की स्मृति में आयोजित इस शिविर में श्रम कल्याण विषयक चिंतन, चर्चा और सार्थक व्याख्यान हुए जिनमें श्रम शक्ति का यशोगान और गांधी के दर्शन को आत्मसात् कर जनकल्याण के लिए संकल्पित होने का आह्वान किया गया। शहर के अग्रवाल रिसोर्ट मंे आरंभ हुए इस महाकुंभ को सम्बोधित करते हुए उपाध्यक्ष श्रम कल्याण सलाहकार बोर्ड एवं अध्यक्ष इंटक जगदीश श्रीमाली ने कहा कि राजस्थान सरकार गांधी की विचारधारा के साथ अंतिम छोर के व्यक्ति को राहत देने के लिए कृत संकल्पित है। इसी विचारधारा से देश में समृद्धि संभव है।
श्रीमाली ने आव्हान किया कि इस विचारधारा के प्रचार-प्रसार के लिए बढ़-चढ़ कर योगदान दें। उन्होंने कहा कि आज श्रम का मूल्य घट रहा है। पंूजीवादी व्यवस्था हावी है, ऐसे में गरीबों के हक की लड़ाई के लिए एक जुटता जरूरी है।
विधायक पीपल्दा रामनारायण मीणा ने कहा कि भ्रष्टाचार को खत्म करना पहली आवश्यकता है। साथ ही जातिपाति जैसी बुराइयों पर वार करते हुए गांधी जी के सत्य, अहिंसा के सिद्धांतों को प्रसारित करना आवश्यक है। लेकिन इसके लिए खुद को मजबूत बनाना जरूरी है।
खादी बोर्ड के उपाध्यक्ष एवं गांधी जीवन दर्शन समिति के जिला संयोजक पंकज मेहता ने शिविर का परिचय एवं राजस्थान सरकार ने शांति एवं अहिंसा निदेशालय की भूमिका पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि अन्तिम पंक्ति तक राहत पहुंचाना सरकार का मूल मंत्र है। महंगाई राहत शिविरों के माध्यम से भी यह उद्देश्य पूरा कर आमजन को कल्याणकारी योजनाओं से लाभान्वित किया जा रहा है।
शांति एवं अहिंसा निदेशालय के निदेशक मनीष कुमार शर्मा ने राष्ट्र स्तर श्रमिक विकास शिविर का विवर्तन करते हुए प्रदेश में गांधी दर्शन के व्यापक प्रचार-प्रसार के लिए हुए नवाचार की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि शांति एवं अहिंसा निदेशालय देशभर में गांाधी दर्शन को जन-जन तक पहुंचाने का अनूठा कदम है। निदेशक ने बताया कि मुख्यमंत्री की गांधीवादी सोच के अनुरूप निदेशालय गांधी दर्शन के प्रसार एवं अन्तिम छोर के व्यक्ति को राहत देने की मंशा को धरातल पर उतारने के लिए संकल्पित है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री की बजट घोषणा के अनुसार 50 हजार महात्मा गांधी सेवा प्रेरक तैयार किए जाएंगे। महात्मा गांधी पुस्तकालयों की स्थापना भी की जाएगी। उन्होंने विभिन्न राज्यों से आए हुए प्रतिनिधियों से आव्हान किया कि वे भी अपने प्रदेश में इस तरह के नवाचारों के लिए आधार भूमि तैयार करें। उन्होंने कहा कि नई पीढ़ी में संस्कार गांधी दर्शन को आत्मसात् करने से ही प्रस्फुटित हो सकेंगे।
Ashwandewangan
प्रकाश सिंह पिछले 3 सालों से पत्रकारिता में हैं। साल 2019 में उन्होंने मीडिया जगत में कदम रखा। फिलहाल, प्रकाश जनता से रिश्ता वेब साइट में बतौर content writer काम कर रहे हैं। उन्होंने श्री राम स्वरूप मेमोरियल यूनिवर्सिटी लखनऊ से हिंदी पत्रकारिता में मास्टर्स किया है। प्रकाश खेल के अलावा राजनीति और मनोरंजन की खबर लिखते हैं।