मध्य प्रदेश

MP News: बूढ़ी मां पर बन रही थी बोझ, बेटे ने कर दी हत्या

Sarita
21 March 2025 2:15 AM GMT
MP News: बूढ़ी मां  पर बन रही थी बोझ, बेटे ने कर दी हत्या
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MP News: एक मां जिसने अपने बेटे को नौ महीने तक कोख में रखा, उसे जन्म दिया, अपने दूध से पाला और हर दर्द सहकर अपने बेटे के लिए जी, लेकिन वही मां अब अपने बेटे पर बोझ बन रही थी और उसी बेटे ने अपनी मां की जान ले ली. नशे की हालत में बेटे ने पहले उस पर लाठियों से हमला किया और फिर गला दबाकर उसकी हत्या कर दी. जिसने भी इस घटना के बारे में सुना उसके रोंगटे खड़े हो गए. दरअसल ये दिल दहला देने वाली घटना मंडला जिले के टाटरी चौकी क्षेत्र के कामता गांव से सामने आई है, जहां एक बेटे ने अपनी ही मां की बेरहमी से हत्या कर दी. ये घटना समाज को झकझोर देने वाली है, जिसमें प्रेम और त्याग की प्रतिमूर्ति मां को उसी बेटे ने मार डाला, जिसके लिए उसने अपने जीवन की सारी खुशियां कुर्बान कर दी थीं|
मां का त्याग बिखर गया मृतक 65 वर्षीय गीता नंदा अपने बेटे जानू उर्फ ​​गुड्डा नंदा के साथ रहती थी. जीवन के इस पड़ाव पर वह पूरी तरह से अपने बेटे पर निर्भर थी, लेकिन वही बेटा उसकी देखभाल से तंग आ चुका था और आए दिन उससे झगड़ा करता था। बूढ़ी मां अपनी परेशानी पड़ोसियों से साझा करती थी, जिससे गुड्डा नाराज रहता था। घटना वाले दिन भी कुछ ऐसा ही हुआ। गीता नंदा ने जब अपनी परेशानी पड़ोसियों को बताई तो गुड्डा आगबबूला हो गया। नशे में धुत बेटे ने पहले अपनी मां को डंडे से बेरहमी से पीटा और फिर गला दबाकर उसकी हत्या कर दी।
घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और तत्काल कार्रवाई करते हुए आरोपी बेटे को गिरफ्तार कर लिया। इस घटना से पूरे गांव में मातम का माहौल है। लोग सोचने पर मजबूर हैं कि क्या कोई बेटा इतना क्रूर हो सकता है कि अपनी मां की हत्या कर दे? पुलिस ने आरोपी गुड्डा नंदा को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है। शुरुआती जांच में पता चला है कि आरोपी शराब का आदी था और अक्सर अपनी मां के साथ बदसलूकी करता था।
पूरे मामले में नैनपुर एसडीओपी मनीष सिंह का कहना है कि आरोपी बेटे को फिलहाल गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस पूरे मामले की गहनता से जांच कर रही है ताकि आरोपियों को सख्त से सख्त सजा दिलाई जा सके। साथ ही यह घटना समाज के लिए एक बड़ा सबक है कि माता-पिता को बुढ़ापे में सिर्फ सहारा ही नहीं, बल्कि सम्मान और प्यार भी मिलना चाहिए। ऐसे अपराधों को रोकने के लिए सख्त कानूनों के साथ-साथ समाज को भी जागरूक होने की जरूरत है।
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