झारखंड

शहर के 90 अपार्टमेंट की फायर एनओसी फेल, खतरे में हैं लोग

Admin Delhi 1
3 Feb 2023 11:08 AM GMT
शहर के 90 अपार्टमेंट की फायर एनओसी फेल, खतरे में हैं लोग
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जमशेदपुर न्यूज़: शहर के 90 अपार्टमेंट ऐसे हैं, जिनकी फायर एनओसी फेल हो गई है. कुछ में तो आग बुझाने के उपकरण लगे हैं, लेकिन उसकी अवधि फेल हो चुकी है. कई ऐसे भवन हैं, जिन्होंने भवन निर्माण के समय तो एनओसी ली, लेकिन उसके बाद रिन्यूअल तक नहीं कराया.

फायर एनओसी के लिए ऑनलाइन प्रक्रिया होती है. डिपार्टमेंट के अधिकारी बिल्डिंग की जांच कर एनओसी की स्वीकृति देते हैं. इसके लिए तमाम नियमों का पालन करना होता है. साथ ही यह निर्देश दिया जाता है कि उसका रिन्यूअल समय पर कराते रहना है. लेकिन शहर में इसका पालन नहीं किया जाता है. निर्माण के वक्त फायर डिपार्टमेंट द्वारा इंस्पेक्शन कर एडवाइजरी जारी की जाती है. इसमें बिल्डिंग की ऊंचाई, कैटेगरी जैसी चीजों के अनुसार अग्नि सुरक्षा नियमों के बारे में बताया जाता है. निर्माण के बाद भवन का निरीक्षण किया जाता है. उसके बाद उन्हें एडवाइजरी जारी कर दी जाती है.

होनी है कार्रवाई झारखंड म्यूनिसिपल एक्ट के अनुसार, कोई स्थायी निर्माण योजना अग्नि सुरक्षा नियमों को पूरा किए बगैर अप्रूव किया गया है तो म्यूनिसिपल कमिश्नर या एग्जीक्यूटिव ऑफिसर निर्माण का काम रुकवा सकता है. जिस आर्किटेक्ट ने ऐसे बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन का प्लान स्वीकृत किया है, उसके खिलाफ भी कार्रवाई का प्रावधान है.

50 हजार आबादी पर एक फायर यूनिट: कोल्हान का फायर यूनिट का मुख्यालय गोलमुरी में है. जिले में गोलमुरी के साथ मानगो और बहरागोड़ा में फायर स्टेशन काम कर रहा है. नियमानुसार 50 हजार की आबादी पर एक फायर यूनिट होनी चाहिए, जिसमें कम से कम से एक वाहन और छह सदस्यों की टीम हो. प्रावधान के तहत यहां सुविधा नहीं है.

फायर सेफ्टी के लिए ये इंतजाम होने चाहिए: नेशनल बिल्डिंग कोड के अनुसार बिल्डिंग्स में फायर सेफ्टी के लिए फायर एक्सटिंग्विशर, हॉल रील, ऑटोमेटिक स्प्रिंक्लर सिस्टम, फायर अलार्म सिस्टम, अंडरग्राउंड वाटर स्टोरेज टैंक, टैरेस टैंक जैसे इंतजाम होने चाहिए.

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