लाइफ स्टाइल

प्रेग्नेंसी में हेल्दी रहने के लिए इन फूड्स और ड्रिंक्स से बनाएं दूरी

SANTOSI TANDI
1 Sep 2023 6:14 AM GMT
प्रेग्नेंसी में हेल्दी रहने के लिए इन फूड्स और ड्रिंक्स से बनाएं दूरी
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फूड्स और ड्रिंक्स से बनाएं दूरी
प्रेग्नेंसी के दौरान, महिलाओं को अपनी डाइट का खास ख्याल रखना चाहिए। इस समय में महिलाओं के खाने-पीने का असर उनकी और होने वाली बच्चे की सेहत पर होता है। इसी वजह से प्रेग्नेंसी डाइट में कुछ खास चीजों को शामिल करने की सलाह दी जाती है। वहीं, कई सारी चीजों को इस समय पर अवॉइड भी करना चाहिए। इसके अलावा स्ट्रेस से दूर रहना, पूरी नींद लेना वगरैह कई ऐसी चीजे हैं, जिनका प्रेग्नेंसी में ध्यान रखा जाना चाहिए। प्रेग्नेंट महिलाएं अक्सर खान-पान को लेकर कंफ्यूज रहती हैं। यहां हम आपको कुछ ऐसी चीजों के बारे में बता रहे हैं, जिन्हें प्रेग्नेंसी के दौरान नहीं खाना चाहिए। इस बारे में डाइटिशियन राधिका गोयल जानकारी दे रही हैं। राधिका सर्टिफाइड डाइटिशियन और न्यूट्रिशनिस्ट हैं।
प्रेग्नेंसी में क्या नहीं खाना चाहिए?प्रेग्नेंसी में कच्चे या बिना पके अंडे खाना अवॉइड करना चाहिए। इसमें सैल्मोनेला नामक बैक्टीरिया के मौजूद होने का खतरा रहता है।
गर्भवती महिलाओं को अजीनोमोटो खाना भी अवॉइड करना चाहिए। इसमें मौजूद तत्वों के कारण शरीर में सोडियम की मात्रा बढ़ जाती है, जिससे बीपी (हाई बीपी को मैनेज करने के टिप्स) बढ़ने का खतरा रहता है।
इसके साथ ही प्रेग्नेंसी (प्रेग्नेंसी से पहले लाइफस्टाइल में बदलाव) के दौरान एल्कोहल का सेवन भी बिल्कुल नहीं करना चाहिए। यह बच्चे के विकास पर उल्टा असर डाल सकता है।
इस समय में अनपास्चुराइज्ड डेयरी प्रोडक्ट्स से भी बचना चाहिए। दरअसल, पॉस्चुराइज करने से डेयरी प्रोडक्ट्स में मौजूद सभी जीवाणु मर जाते हैं। वहीं, अनपास्चुराइज्ड डेयरी प्रोडक्ट्स में नुकसानदेह बैक्टीरिया का खतरा होता है।
यूं तो प्रेग्नेंसी में फल खाना अच्छा होता है। लेकिन आपको अनानास और पपीता नहीं खाना चाहिए। पपीता खाने से शरीर में गर्मी पैदा हो सकती है। इसमें लेटेक्स भी पाया जाता है, जिससे गर्भाशय में संकुचन हो सकता है।
अनानास में ब्रोमेलेन एंजाइम होता है, जो गर्भाशय ग्रीवा को नरम बना सकता है।
इस दौरान महिलाओं को कैफीन का सेवन भी लिमिट में करना चाहिए। कैफीन की अधिक मात्रा हार्ट रेट और बच्चे की ग्रोथ पर असर डाल सकती है।caffine in pregnancy
प्रेग्नेंसी में सौंफ और मेथी का इस्तेमाल कम मात्रा में ही करना चाहिए।
इसके अलावा कच्चे स्प्राउट्स, मीट, फिश और सीफूड से भी बचाव करना चाहिए। इसमें बैक्टीरिया होते हैं।
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