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मानसिक बीमारी बढ़ती जा रही है। ऐसे में मेंटल हेल्थ के लिए माइंडफुलनेस मेडिटेशन बेहद जरूरी है।

Kajal Dubey
12 Sep 2022 1:51 PM GMT
मानसिक बीमारी बढ़ती जा रही है। ऐसे में मेंटल हेल्थ के लिए माइंडफुलनेस मेडिटेशन बेहद जरूरी है।
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माइंडफुलनेस मेडिटेशन एक मानसिक ट्रेनिंग अभ्यास है, जो आपके दिमाग में दौड़ रही विचारों को धीमा करने,
माइंडफुलनेस मेडिटेशन एक मानसिक ट्रेनिंग अभ्यास है, जो आपके दिमाग में दौड़ रही विचारों को धीमा करने, नकारात्मकता को दूर करने और अपने मन और शरीर दोनों को शांत करना सिखाता है। आज की भागती दौड़ती जिंदगी में व्यक्ति तनाव मुक्त रहना भूल गया है। दिमाग में तरह-तरह की चिंताओं के चलते वह धीरे-धीरे डिप्रेशन का शिकार होने लगा है। कई बार इसे निकल पाना लोगों के लिए काफी मुश्किल हो जाता है। उन्हें समझ नहीं आता कि खुद को किस तरह शांत करें। कई लोग खुश रहने के लिए बाहर आउटिंग कर लेते हैं, मूवी देख लेते हैं, लेकिन इससे मानसिक शांति नहीं मिल पाती है। ऐसे में थोड़ा समय खुद के साथ बिताना बेहद जरूरी होता है। इसके लिए माइंडफुलनेस मेडिटेशन बहुत ही लाभदायक है। माइंडफुलनेस मेडिटेशन के कई फायदे हैं। आइए जानते हैं माइंडफुलनेस डे पर माइंडफुलनेस मेडिटेशन के फायदे।
माइंडफुलनेस मेडिटेशन करने के कई तरीके हैं। इसे करने से आप अपने गुस्से में शांति पा सकते हैं। जब भी आपको गुस्सा आता है तो आप आंखें बंद करके गहरी सांस लें और पूरा ध्यान खुद पर केंद्रित करें। पांच मिनट ऐसा करने से आपका गुस्सा शांत हो जाएगा। इसके बाद आपको शांति और खुशी का आनंद होगा। माइंडफुलनेस मेडिटेशन से किसी भी काम के प्रति आपका फोकस बढ़ेगा। स्ट्रेस व चिंता से छुटकारा पा सकेंगे। बेहतर नींद भी मिलेगी। इसके साथ ही दूसरों को समझने और स्वीकार करने की क्षमता का विकास होगा।
माइंडफुलनेस मेडिटेशन करने के लिए ऐसे स्थान का चुनाव करें जहां शांति हो और हल्की सूरज की रोशनी आती हो। इसे आप सुबह के वक्त कर सकते हैं। सुबह उठकर करने से कई फायदे होंगे। इसे करने के लिए आंखें बंद करें और अपना पूरा ध्यान अपनी सांसों पर केंद्रित करें। सांस अंदर और बाहर जितनी बार आ रही है उतनी बार उसे महसूस करें। सांसों के उतार-चढ़ाव को अच्छे से महसूस करें।



न्यूज़ क्रेडिट :timesnowhindi
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