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बारिश का मौसम शुरू नहीं होता कि मच्छरों का हमला करना शुरू हो जाता है. मच्छरों के झुंड में कई ऐसे मच्छर होते हैं,
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। बारिश का मौसम शुरू नहीं होता कि मच्छरों का हमला करना शुरू हो जाता है. मच्छरों के झुंड में कई ऐसे मच्छर होते हैं, जो मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया जैसे रोगों का कारण बनते हैं. ये बीमारियां मानसून सीजन में अधिक इसलिए होती हैं, क्योंकि मच्छर इस मौसम में अधिक पनपते हैं. घर के आसपास पानी जमा होने, कूलर, नालियों आदि में मच्छर पैदा होने लगते हैं. डेंगू, मलेरिया आदि रोगों का इलाज समय पर ना किया जाए, तो इससे जान भी चली जाती है. ऐसे में आपके घर में मच्छर ना हों, आपके साथ ही बच्चे भी मच्छरों के नुकीले डंक से बचे रहें, तो इसके लिए आपको कुछ बेहद आसान से नुस्खे अपनाने होंगे.
मच्छरों से बचने के उपाय
-अपने घर के आसपान पानी जमा ना होने दें.
-साफ-सफाई का पूरा ध्यान रखें.
-घर के बर्तन, बाल्टी, कूलर, घड़ा आदि में पानी खुला ना छोड़ें.
-बारिश के मौसम में रात में मच्छरदानी लगाकर सोएं.
-बच्चों को फुल बाजू के कपड़े पहनाएं.
-उन्हें देर शाम तक बाहर खेलने ना भेजें.
-घर के खिड़की-दरवाजे शाम होने से पहले ही बंद कर लें.
मच्छरों के डंक से बचने के आसान देसी नुस्खे
– स्टाइल्सएटलाइफ डॉट कॉम में छपी एक खबर के अनुसार, यदि आप मच्छरों के प्रकोप से बचे रहना चाहते हैं, तो प्याज का इस्तेमाल करें. प्याज में प्राकृतिक रूप से एंटीफंगल तत्व होते हैं. इसका जूस इंफेक्शन से बचाता है. यदि आपको मच्छर के काटने के बाद त्वचा लाल हो गई है, तो वहां प्याज का एक टुकड़ा काटकर रखें. इसे हल्के हाथों से रगड़ें और फिर पानी से साफ कर लें.
-लहसुन भी मच्छर काटने के असर को बेअसर करता है. चूंकि, लहसुन में एलिसिन नामक कम्पाउंड होता है, जो मच्छरों के खिलाफ एक तीव्र विकर्षक (Repelling) एक्शन प्रदर्शित करता है. यह अपनी तीव्र सुगंध से मच्छरों को भगाने में भी मदद करता है. आपका 4-5 लहसुन की कलियों को एक बड़े चम्मच मिनरल ऑयल के साथ अच्छी तरह से क्रश्ड करके रात भर के लिए छोड़ना होगा. अब इस तेल को एक कटोरी में छान कर निकाल दें. इसमें एक चम्मच नींबू का रस, दो कप पानी डालकर अच्छी तरह से मिक्स करें. इसे एक स्प्रे बॉटल में डाल दें. शरीर के खुले हुए हिस्से पर इस लिक्विड को स्प्रे कर लें, आपके पास मच्छर आने से भी डरेगा.
– मच्छरों से बचे रहने के लिए आप एलोवेरा जेल का भी इस्तेमाल कर सकते हैं. एलोवेरा जेल सिर्फ त्वचा, बालों के लिए हेल्दी नहीं होता है, बल्कि यह इंफेक्शन, जख्मों को भी हील करता है. यह एंटी-इंफ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज से भरपूर होता है. आपको एलोवेरा लेना है. इसमें से जेल निकाल लें. जहां मच्छर ने काटा है, वहां इसे हल्के हाथों से लगाएं और थोड़ी देर के लिए छोड़ दें. मच्छर के काटने के कारण होने वाली इचिंग, रेडनेस खत्म हो जाएगी. मच्छर ना काटे इसके लिए भी आप इसके जेल को हाथों, गर्दन, पैरों, चेहरे पर लगाकर रात में सो सकते हैं.
– केला खकर यदि उसका छिलका फेंक देते हैं, तो ऐसा ना करें. इसका इस्तेमाल आप मच्छरों के काटने वाले हिस्से पर कर सकते हैं. केले का छिलका मच्छरों के काटने से होने वाली खुजली, रेडनेस को कम करता है. जिस जगह पर आपको मच्छरों ने काटा है, वहां ताजे केले के छिलको को लेकर रगड़ें. दिन में ऐसा दो से तीन बार करने से फायदा जल्दी होगा.
– तुलसी की कुछ सूखी पत्तियां लें. इसे एक कप पानी में डालकर उबाल लें. पानी आधा हो जाए, तो गैस से उतारकर ठंडा होने दें. अब कॉटन की मदद से तुलसी के पानी को मच्छर काटने वाले हिस्से पर लगाएं. तुलसी में मौजूद कम्पाउंड यूजेनॉल त्वचा में होने वाली इचिंग को कम करता है. आप डायरेक्ट तुलसी की पत्तियों को भी मच्छर काटने वाले भाग पर रगड़ सकते हैं.
-शहद आपके घर में है, तो जिस जगह पर मच्छरों ने काटा है, वहां इसे कॉटन की मदद से लगा सकते हैं. शहद के एंटी-इंफ्लेमेटरी, एंटी-बैक्टीरियल और एंटीऑक्सीडेंट गुण मच्छरों के काटने के असर को बेअसर करते हैं. इसके अलावा, शहद सूदिंग एफेक्ट भी करता है.
Tara Tandi
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