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आजकल की जीवनशैली में खराब खानपान, देर से सोना और देर से जागने की आदत, दिन भर एक ही जगह बैठकर घंटों काम करने जैसी कई बुरी आदतों की वजह से कई तरह की स्वास्थ्य संबंधी मुश्किलों का सामना करना पड़ता हैं। खासतौर से वजन बढ़ने, पाचन और पेट संबंधी समस्या का सामना करना पड़ता हैं। ऐसे में इसबगोल की भूसी का सेवन आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकता हैं जो इन समस्याओं के अलावा भी कई बीमारियों में बेहतर परिणाम देती हैं। इसबगोल जिसे अंग्रेजी में साइलियम हस्क कहते हैं, प्लांटैगो ओवेटो के पौधे से मिलने वाला बीज और भूसी है। इसबगोल बीज के आसपास की भूसी में घुलनशील फाइबर होता है। आज इस कड़ी में हम आपको बताने जा रहे हैं कि किस तरह से इसबगोल का सेवन किया जाना चाहिए और यह कैसे फायदा पहुंचाता हैं। आइये जानते हैं इनके बारे में...
ब्लड शुगर के लेवल को करता है बैलेंस
इसबगोल की भूसी के रोजाना सेवन से डायबिटीज के मरीजों को ब्लड शुगल लेवल को बैलेंस रखने में काफी मदद मिल सकती है। ये शुगर स्पाइक्स को भी कंट्रोल करने में कारगर है। दिन में दो बार 5 ग्राम इसबगोल के सेवन से टाइप 2 डायबिटीज से पीड़ित लोगों में ब्लड शुगर लेवल को आसानी से कंट्रोल किया जा सकता है।
कब्ज़ दूर करने में सहायक
पेट से जुड़ी तमाम दिक्कतें सिर्फ कब्ज़ की समस्या के कारण ही होती हैं। इसलिए ज़रुरी है कि सबसे पहले कब्ज़ का इलाज किया जाए जिससे बाकि समस्याएं अपने आप ठीक हो जाती हैं। ईसबगोल में मौजूद फाइबर की अधिक मात्रा लैक्सेटिव की तरह काम करती है। इसबगोल की पानी के साथ मिलाकर खाने के एक घंटे बाद लें और इसके बाद एक या दो गिलास पानी और पी लें। यह आंतों की मांसपेशियों की गतिशीलता बढ़ाती है और मल को मुलायम बनाती है जिससे मलत्याग करना काफी आसान हो जाता है। इसबगोल का सेवन कुछ ही दिन करने से कब्ज़ ठीक हो जाता है।
दिल को रखे स्वस्थ
इसबगोल पित्त ऐसिड को बांधता है और एलडीएल यानी बैड कलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में मदद करता है। यह एचडीएल यानी गुड कलेस्ट्रॉल का स्तर बढ़ाने में भी मददगार है। इसबगोल दिल को स्वस्थ रखने में भी मदद करता है क्योंकि यह शरीर में ट्राइग्लिसराइड के लेवल को कम करता है। यह दिल की मांसपेशियों को मजबूत बनाता है, लिपिड के स्तर को बढ़ाता है और ब्लड प्रेशर कंट्रोल करता है।
वजन घटाने में फायदेमंद
वजन घटाने के लिए भी इसबगोल फायदेमंद हो सकता है। यहां भी इसमें मौजूद फाइबर के लाभ देखे जा सकते हैं। दरअसल, फाइबर युक्त आहार का सेवन करने से पेट लंबे समय तक भरा रहता है, जिससे अतिरिक्त भोजन करने की इच्छा कम होती है। इस प्रकार यह वजन को नियंत्रित करने का काम कर सकता है।
पाचन को करता है दुरुस्त
एक स्वस्थ शरीर के लिए पाचन का ठीक रहना बेहद जरूरी है और इसबगोल इसमें मददगार हो सकता है। इसबगोल में लैक्सेटिव प्रभाव होता है। यह प्रभाव पाचन क्रिया को अच्छी तरह से कार्य करने में सहायता कर सकता है। इसके अलावा, इसबगोल का इस्तेमाल चिकित्सीय एजेंट के रूप में कब्ज, दस्त और इर्रिटेबल बाउल सिंड्रोम यानी आंतों से जुड़ी समस्या के घरेलू उपचार के लिए भी किया जाता रहा है।
xबवासीर में फायदेमंद
बवासीर होने की मुख्य वजह कब्ज है। इस बीमारी में मल त्यागने में काफी कठिनाई होती है। जिससे एनल के आसपास की नसें सूज जाती हैं। इस समस्या में इसबगोल मददगार साबित हो सकता है। खाना खाने के एक घंटे बाद आप इसका सेवन कर सकते हैं। ये मल को नरम बना देता है और त्यागने के दौरान दर्द कम हो सकता है।
स्पर्म काउंट बढ़ाने में मददगार
भूसी स्पर्म काउंट बढ़ाने में काफी मदद करती है। यह सीमेन को गाढ़ा करने के साथ-साथ ऑर्गेज्म को बढ़ाती है। इसबगोल शीघ्रपतन की समस्या को दूर करने में भी सहायता कर सकती है।
कैसे करें इसबगोल का सेवन
पानी के साथ
इसके सेवन के लिए आप एक गिलास पानी या किसी फल के जूस में 1-2 चम्मच इसबगोल डालकर कुछ मिनट के लिए ऐसे ही छोड़ दें। थोड़ी देर पानी में डालकर रखने से पानी या जूस अच्छे से भूसी को अवशोषित कर लेती है और यह फूल जाएगी। इसके बाद फौरन इसको पी लें। अगर आप चाहें तो 1-2 चम्मच भूसी को मुंह में रखकर ऊपर से पानी पी सकते हैं। इसका सेवन आपको सुबह खाली पेट करना है।
दूध के साथ
पानी और जूस की तरह आप रात में सोने से पहले इसबगोल को दूध के साथ भी ले सकते हैं। इसके लिए एक गिलास गुनगुने दूध में 1-2 चम्मच इसबगोल डालकर इसका सेवन करें।
दही के साथ
आप चाहें तो दही के साथ भी इसका सेवन कर सकते हैं। इसके लिए इसबगोल की भूसी को एक कटोरी दही में मिलाकर कुछ देर के लिए छोड़ दें। जब यह अच्छे से फूल जाए तो इसको खा लें। इससे आंत में अच्छे बैक्टीरिया बढ़ते हैं और पाचन भी दुरुस्त रहता है। इसके साथ ही आप दिन में किसी भी समय इसका सेवन कर सकते हैं।
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