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फैटी लिवर में है सूजन तो, ये दो चीजें, डाइट में जरूर करें शामिल
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। लिवर हमारे शरीर का एक महत्वपूर्ण अंग होता है, जो शरीर में भोजन पचाने से लेकर पित्त बनाने तक का काम करता है। इसके अलावा यह शरीर से विषैले पदार्थो को बाहर निकालने, फैट को कम करने, कार्बोहाइड्रेट को स्टोर करने और प्रोटीन बनाने में भी मदद करता है। अगर लिवर मजबूत है तो पूरा शरीर भी स्वस्थ रहता है। हालांकि आज के समय में लोगों की लाइफस्टाइल इतनी बदल गई है कि वे लिवर संबंधी तरह-तरह की बीमारियों की शिकार हो रहे हैं, जिसमें फैटी लिवर की समस्या भी शामिल है। दरअसल, लिवर में जब अतिरिक्त वसा इकट्ठी हो जाती है, तो उस स्थिति को फैटी लिवर कहा जाता है। वैसे तो यह एक बेहद ही सामान्य लिवर की बीमारी है, लेकिन अगर इसपर समय रहते ध्यान न दिया गया तो इसकी वजह से कई और गंभीर और जानलेवा बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है।
विशेषज्ञ कहते हैं कि फैटी लिवर वाले अधिकतर लोगों में कोई भी लक्षण नहीं होते हैं, लेकिन लिवर बढ़ने के कारण कुछ लोगों को पेट के दाहिनी ओर दर्द का अनुभव हो सकता है। इसके अलावा थकान, मतली और भूख न लगने जैसे लक्षण भी दिख सकते हैं।
फैटी लिवर की समस्या से जूझ रहे लोगों को अपने खानपान पर विशेष ध्यान देने की जरूरत होती है, क्योंकि आप जो भी चीजें खाते हैं, उसका असर आपके लिवर पर भी पड़ता है। इसलिए फैटी लिवर से ग्रसित लोगों को ऐसी चीजों का सेवन करना चाहिए, जो उनके लिए लाभदायक हों। आइए जानते हैं फैटी लिवर वाले किन चीजों को अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं?
आंवला
आंवले को प्राचीन आयुर्वेदिक औषधियों में से एक माना जाता है। यह एंटी-ऑक्सीडेंट और पोषक तत्वों से भरपूर होता है। इसका नियमित रूप से सेवन करने से लिवर को स्वस्थ रखा जा सकता है। साथ ही इसमें मौजूद एंटी-ऑक्सीडेंट गुण लिवर से सूजन को भी कम करने में मदद करते हैं।
ब्रोकली
फैटी लिवर के मरीजों के लिए ब्रोकली का सेवन फायदेमंद साबित हो सकता है। इसमें एंटी-ऑक्सीडेंट, विटामिन और फाइबर, कैल्शियम समेत कई प्रकार के पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो स्वास्थ्य के लिए बेहद ही अच्छे होते हैं। ब्रोकली में पाए जाने वाले गुण शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करते हैं और साथ ही लिवर में सूजन की समस्या में भी फायदेमंद होते हैं।
नोट: डॉ. परवेश मलिक एक फिजिशियन हैं और वर्तमान में पानीपत के उजाला सिग्नस महाराजा अग्रसेन अस्पताल में कार्यरत हैं। डॉ. मलिक ने हरियाणा के महर्षि मार्कंडेश्वर इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ साइंसेज एंड रिसर्च मुल्लाना, से अपना एबीबीएस पूरा किया है। इन्होंने जनरल मेडिसिन में एमडी भी किया। पानीपत के उजाला सिग्नस महाराजा अग्रसेन अस्पताल में काम करने से पहले डॉ. परवेश ने एम.एम इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज एंड रिसर्च महर्षि मार्कंडेश्वर यूनिवर्सिटी में जूनियर रेजिडेंट के तौर पर काम किया है।
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