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125 करोड़ की ठगी के आरोप में बीएसएफ कमांडेंट, बहन-पत्नी समेत गिरफ्तार

Shiv Samad
14 Jan 2022 4:20 AM GMT
125 करोड़ की ठगी के आरोप में बीएसएफ कमांडेंट, बहन-पत्नी समेत गिरफ्तार
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राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) परिसर में निर्माण कार्यों का ठेका दिलाने के नाम पर पांच बिल्डरों से 125 करोड़ रुपये की ठगी का मामला सामने आया है. गुरुग्राम पुलिस ने पंजाब के जीरकपुर से सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के कमांडेंट प्रवीण यादव, उनकी पत्नी ममता यादव, एक्सिस बैंक के मैनेजर बहन ऋतुराज यादव और एक बिचौलिए दिनेश कुमार को गिरफ्तार किया है. एसीपी क्राइम प्रीतपाल सांगवान ने बताया कि उनके पास से 13.81 करोड़ रुपये की नकदी और चार लग्जरी कारें बरामद की गई हैं. मामले में एनएसजी में तैनात असिस्टेंट कमांडेंट नवीन यादव फरार है। वह रिश्ते के मास्टरमाइंड प्रवीण यादव का साला है और फिलहाल मानेसर में तैनात है। एसीपी ने बताया कि मास्टरमाइंड प्रवीण यादव गुरुग्राम के खेड़ा खुर्रमपुर का रहने वाला है. दिनेश हिसार का रहने वाला है। उन्होंने कहा कि 8 जनवरी को बिल्डर नारायण दास इसरानी ने मानेसर में प्राथमिकी दर्ज कराई थी.

उनके मुताबिक, प्रवीण यादव ने आईपीएस अधिकारी बनकर एनएसजी परिसर में ठेका दिलाने के नाम पर उनसे 64.49 करोड़ रुपये की ठगी की. इसमें ऋतुराज भी शामिल हैं। वह सेक्टर 81 में सैफायर मॉल स्थित एक्सिस बैंक में शाखा प्रबंधक हैं। उनके साथ एनएसजी में सहायक कमांडेंट नवीन यादव भी हैं। नौ जनवरी को एक अन्य बिल्डर देवेंद्र यादव ने 37 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी की शिकायत की थी. अब तक की जांच में यह भी सामने आया है कि आरोपी इस रकम को शेयर बाजार में निवेश करता था, जिसमें उसे घाटा हुआ है। पुलिस ने प्रवीण यादव को 6 दिन और बाकी ओरपिस को तीन दिन के रिमांड पर लिया है।

मास्टरमाइंड ने बनाई फर्जी कंपनी

इस फर्जी कंपनी को प्रवीण ने NSG के पते पर बनाया था। जांच में पता चला कि कंपनी का एनएसजी से कोई लेना-देना नहीं था। उन्होंने पत्नी ममता यादव और बहन ऋतुराज को निदेशक बनाया था। वह चार साल पहले बीएसएफ से प्रतिनियुक्ति पर एनएसजी में तैनात थे। बाद में उन्हें बीएसएफ में नियुक्त किया गया। इसके बाद उन्होंने स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति के लिए आवेदन किया। हालांकि अभी तक आवेदन स्वीकार नहीं किया गया है। एनएसजी में अपनी पोस्टिंग के दौरान वे निर्माण विभाग के प्रभारी थे। उसके बाद से वह एनएसजी में निर्माण कार्य दिलाने के नाम पर ठगी कर रहा था।

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