वॉशिगंटन। अमेरिका ने चीनी जासूसी गुब्बारे को दक्षिण कैरोलिना के तट पर मार गिराया है। अभी तक यह चीनी गुब्बारा अमेरिकी जमीन के ऊपर उड़ान भर रहा था। यह जैसे ही समुद्र की ओर बढ़ा, वैसे ही कम खतरे को देखते हुए अमेरिकी लड़ाकू विमान ने इसे मार गिराया। इस संदिग्ध गुब्बारे ने एक हफ्ते पहले अमेरिकी हवाई सीमा में प्रवेश किया था। अमेरिका ने इसे जासूसी गुब्बारा बता कर इस पर चिंता जताई थी, जबकि चीन ने इसे सामान्य मौसम संबंधी जानकारी जुटाने वाला बैलून बताकर माहौल सामान्य करने की कोशिश की थी।
इस बैलून की वजह से अमेरिका और चीन के संबंध बेहद खराब हो गए थे। राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि उन्होंने गुब्बारे को मार गिराने के लिए बुधवार को ही आदेश दे दिया था। लेकिन, तब अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने इंतजार करने की सिफारिश की थी, जब तक कि यह समुद्र के ऊपर न चला जाए। इसका प्रमुख उद्देश्य शूट डाउन से गिरने वाले मलबे से आम लोगों को बचाना था। बाइडेन ने कहा कि उन्होंने सफलतापूर्वक इसे नीचे गिरा दिया है, और मैं अपने एविएटर्स को बधाई देना चाहता हूं जिन्होंने इसे किया।
एक वरिष्ठ अमेरिकी सैन्य अधिकारी ने कहा कि चीनी गुब्बारे को मार गिराने वाले मिशन में अमेरिकी वायु सेना के कई लड़ाकू और ईंधन भरने वाले विमान शामिल थे। लेकिन, इसे वर्जीनिया के लैंगली एयर फोर्स बेस से उड़े एक एफ-22 रैप्टर लड़ाकू विमान ने दोपहर 2.39 मिनट पर मार गिराया। इसके लिए एक एआईएम-9एक्स सुपरसोनिक हीट सीकिंग मिसाइल का इस्तेमाल किया गया। अमेरिकी अधिकारियों ने कहा कि गुब्बारे को अटलांटिक महासागर के अमेरिकी तट से लगभग छह समुद्री मील की दूरी पर अपेक्षाकृत उथले पानी में गिराया गया।
उन्होंने बताया कि आने वाले दिनों में चीनी निगरानी उपकरणों के टुकड़ों को खोजकर उसका विश्लेषण किया जाएगा। एक अमेरिकी सैन्य अधिकारी ने कहा चीनी गुब्बारे का मलबा सात मील समुद्र में फैला हुआ है। इसकी खोजबीन के लिए कई अमेरिकी सैन्य जहाज पहले से ही साइट पर तैनात हैं।
चीन ने अपने गुब्बारे पर अमेरिकी हमले की कड़ी निंदा की है। चीन का दावा है कि इसका उपयोग मौसम विज्ञान और अन्य वैज्ञानिक उद्देश्यों के लिए किया गया था। चीन ने दावा किया कि यह गलती से अमेरिकी हवाई क्षेत्र में भटक गया था। हालांकि, अमेरिकी अधिकारियों ने चीन के दावे को खारिज कर दिया था। चीनी विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि चीन ने स्पष्ट रूप से अमेरिका से शांत, पेशेवर और संयमित तरीके से इसे ठीक से संभालने के लिए कहा था। लेकिन अमेरिका ने बल प्रयोग पर जोर दिया।