वैज्ञानिकों ने नए इलाज का किया दावा- मोटापे से निपटने में मिलेगी कामयाबी

इन 5 आदतों को बनाएं अपनी जिंदगी का हिस्सा, खुशहाल होगी लाइफ

Update: 2022-04-12 12:49 GMT
आजकल के मॉर्डन लाइफस्टाइल में मोटापा और उसकी वजह से होने वाली बीमारियां दुनियाभर में पब्लिक हेल्थ के लिए बड़ी चुनौतियां बनती जा रही हैं. अनियमित खानपान और एक्सरसाइज की कमी की वजह से ये बीमारी तेजी से बढ़ती जा रही है. इसी को देखते हुए अमेरिका के सैन एंटोनियों स्थित यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्सास के वैज्ञानिकों द्वारा की गई एक स्टडी में मोटापे के नए इलाज का दावा किया गया है. यहां के रिसर्चर्स की टीम ने एक ऐसे अवरोधक यानी इन्हिबिटर (Inhibitor) को डेवलप किया है, जो मोटापे से लड़ने में मदद करता है. इसके अलावा ये मोटापे से जुड़ी दिल की बीमारियों की रोकथाम में भी कारगर है. यूएसटीए के कॉलेज ऑफ साइंसेज में केमिस्ट्री डिपार्टमेंट में एसोसिएट प्रोफेसर फ्रांसिस योशिमोटो (Francis K. Yoshimoto) की अगुवाई में साइंटिस्ट्स की टीम ने मोटापारोधी (anti-obesity) एक ऐसी दवा डेवलप की है, जो कोलेस्ट्रॉल के अवशोषण (absorption) और मोटापा से जुड़े साइटोक्रोम (cytochrome) पी450 8बी1 के प्रभाव को रोकता है.
इस नई दवा के टेस्ट में योशिमोटो को यूटीएसए कॉलेज ऑफ हेल्थ, कम्युनिटी एंड पॉलिसी डिपार्टमेंट की एसोसिएट प्रोफेसर यून्ही चुंग (Prof.Eunhee Chung) ने सहयोग किया है. योशिमोटो ने इस ड्रग के संश्लेषण डिजाइन यानी सिंथेसिस डिजाइन (synthesis design) के सैंपल को चुंग की नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ द्वारा पोषित लैब में टेस्ट के लिए भेजा.
इन 5 आदतों को बनाएं अपनी जिंदगी का हिस्सा, खुशहाल होगी लाइफ
लैब में प्रोफेसर चुंग और उनकी रिसर्च टीम ने पौधों और कुछ खास खाद्य पदा्थों में कम मात्रा में पाए जाने वाले कैमिकल पर बायोएक्टिव मिश्रण के प्रभाव के बारे में स्टडी की. इसके साथ ही इसका भी पता लगाया कि व्यायाम से किस तरह से मोटापा और मेटाबॉलिक गड़बड़ियों को दूर किया जा सकता है. इस स्टडी का निष्कर्ष मेडिकल जर्नल 'स्टेरॉयड्स (Steroids)' में प्रकाशित किया गया है.
स्टडी में क्या निकला
रिसर्च टीम ने ये इन्हिबिटर ड्रग सात दिनों तक चूहों को दी. इसके नतीजे ये निकलकर आए कि हाई फैट और हाई सुक्रोज वाला डाइट दिए जाने के बाद भी चूहे के ब्लड में ग्लूकोज का लेवल कम पाया गया. खास बात ये उनके वजन पर कोई इफेक्ट नहीं पड़ा. ये परिणाम दर्शाता है कि पी450 8बी1 इन्हिबिटर किस प्रकार से मेटाबोलिक प्रोफाइल के लिए हेल्दी हो सकता है और उसके जरिए मोटापा और उससे जुड़े डायबिटीज का इलाज हो सकता है.
कैसे काम करता है ये इन्हिबिटर
यूटीएसए द्वारा विकसित इस दवा में पी450 8बी1 एंजाइम की एक्टिविटी को रोकने की क्षमता है, जो शरीर में कोलिक एसिड पैदा करता है. इस अवरोध से कोलेस्ट्रॉल का अवशोषण कम होता है. इस प्रॉसेस का इस्तेमाल मोटापा से जुड़ी मेटाबॉलिक गड़बड़ियों और दिल की बीमारियों समेत डायबिटीज के इलाज में भी किया जा सकता है.
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